NALANDA : घोटालों, फर्जी बहाली, लाखों का गबन... आदि मसलों पर नित्य नयी कारगुजारियों के लिए बदनाम शिक्षा विभाग को पछाड़ने में इन दिनों स्वास्थ्य विभाग के कुछ कर्मी जुट गये हैं.
एक हफ्ते पहले वेतन घोटाले का भंडाफोड़ होने के बाद अब कोरोना किट घोटाले का मामला सामने आने लगा है. महामारी के इस घड़ी में भी स्वास्थ्य कर्मी मानवता को शर्मसार कर रहे हैं. किट गायब करने अथवा बेचने की मिली शिकायत के बाद सिविल सर्जन डॉ. राम सिंह ने एसीएमओ डॉ. राजेन्द्र कुमार राजेश को जांच का आदेश दिया था, जिसकी जांच रिपोर्ट सामने आ गई है. जिसके बाद दोषी पाए गए तीनों स्वास्थ्य कर्मी पर कार्रवाई की गई है.
किट घोटाले की जांच की सबूत और पुख्ता हो गया कि जब सदर अस्पताल के एक कर्मी का ऑडियो वायरल हुआ. ऑडियो में कहा जा रहा है कि चार-पांच लोगों की रिपोर्ट निगेटिव करके कोरोना जांच किट लेते आना. हमें दे देना. कोरोना काल में इस तरह के कार्य काफी संगीन माना जा रहा है. जांच पूरी होने के बाद नालंदा के सिविल सर्जन डॉ राम सिंह ने लैब टेक्नीशियन को नौकरी से बर्खास्त करने की अनुशंसा जबकि हेल्थ मैनेजर और लिपिक को निलंबित करते हुए प्रपत्र क का गठन किया है. उन्होंने कहा कि जांच में किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा.