बिहार में आज सजेंगे बड़े सियासी मंच : महागठबंधन का पूर्णिया में शक्ति प्रदर्शन तो अमित शाह भी लौरिया और पटना से नीतीश- तेजस्वी से पूछेंगे सवाल

बिहार में आज सजेंगे बड़े सियासी मंच : महागठबंधन का पूर्णिया में शक्ति प्रदर्शन तो अमित शाह भी लौरिया और पटना से नीतीश- तेजस्वी से पूछेंगे सवाल

PATNA  : बिहार में आज यानी शनिवार 25 फरवरी को बड़े सियासी मंच सजने वाले हैं। लोकसभा चुनाव 2024 को ध्यान में रखते हुए पहली बार महागठबंधन के सभी सातों दल एकजुट होकर पूर्णिया में शक्ति प्रदर्शन करेंगे। तो वहीं दूसरी ओर, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पश्चिमी चंपारण जिले के लौरिया और पटना में रैली करके बीजेपी के चुनाव प्रचार का शंखनाद करेंगे। ऐसे में बिहार के लाखों लोगों की नजरें इन दोनों के कार्यक्रमों पर टिकी हुई है। 


अगस्त 2022 में नीतीश कुमार की जनता दल यूनाइटेड बीजेपी से दोस्ती तोड़कर एनडीए से अलग हो चुकी है। बिहार में फिलहाल जेडीयू-आरजेडी-कांग्रेस समेत कुल सात दलों से तैयार महागठबंधन भाजपा को विपक्ष में बैठाकर सरकार चला रही है। ऐसे में अब बिहार में महागठबंधन की सरकार बनने के अब अब आज भाजपा और महागठबंधन आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में अपनी चुनावी प्रचार - प्रसार का शंखनाद करेगी। 


दरअसल, महागठबंधन में शामिल सभी 7 दलों द्वारा आज यानी 25 फरवरी को पूर्णिया के रंगभूमि मैदान में महारैली आयोजित की गई है। राज्य में सात दलीय महागठबंधन का यह पहला बड़ा शक्ति प्रदर्शन होगा। इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, डिप्टी सीएम तेजस्वी प्रसाद यादव, प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और वाम दलों के नेता शामिल होंगे। इसके साथ ही साथ हाल ही में सिंगापुर में किडनी ट्रांसप्लांट के बाद दिल्ली लौटे आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव भी इस रैली को डिजिटल रूप से संबोधित करेंगे।


जबकि, दूसरी तरफ शनिवार को ही बीजेपी केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के दो बड़े कार्यक्रमों का आयोजन करने जा रही है। शाह पश्चिम चंपारण जिले के लौरिया में साहू जैन स्टेडियम में एक जनसभा को संबोधित करने वाले हैं। शनिवार को बिहार के अपने एक दिवसीय दौरे के दौरान भारत नेपाल सीमा से सटे वाल्मीकिनगर में बीजेपी कोर कमेटी को संबोधित करने से पहले उनका नंदनगढ़ में बुद्ध स्तूप का दौरा करेंगे। इसके बाद वह पटना में स्वामी सहजानंद सरस्वती जयंती के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल होंगे। बाद में शाम को बिहार बीजेपी नेताओं के साथ बैठक की अध्यक्षता करेंगे।


इसके साथ ही साथ,पूर्णिया रैली में नीतीश कुमार को 2024 में पीएम कैंडिडेट के रूप में पेश किया जाएगा या नहीं, इस पर अब भी संशय है। हाल ही में भाकपा माले के पटना में हुए खुले अधिवेशन में नीतीश कुमार ने कांग्रेस से बीजेपी के खिलाफ लड़ने और 2024 के लोकसभा चुनावों में पीएम नरेंद्र मोदी के खिलाफ एक मजबूत विपक्षी मोर्चा बनाने का आग्रह किया था। हालांकि, इस रैली के जरिए मुस्लिम बाहुल्य सीमांचल क्षेत्र में आरजेडी और जेडीयू के वोट बैंक को मजबूत करने और AIMIM जैसी पार्टियों के बढ़ते प्रभाव को रोकने के लिए महागठबंधन का पूरा ध्यान होगा। 


इधर, भाजपा के तरफ से शाह पहले ही कह चुके हैं कि 2024 और 2025 में बिहार में बीजेपी को प्रचंड जीत मिलना अन्य राज्यों की तुलना में ज्यादा आसान है। क्योंकि यहां जंगलराज और भ्रष्टाचार करने वालों का राज चल रहा है। इसे जनता पसंद नहीं करती है। अब आज यानी 25 फरवरी को अमित शाह का एक दिवसीय बिहार कार्यक्रम तय किया गया है। फिलहाल सरकार में शामिल राजनीतिक दलों के नेताओं में खींचतान दिख रहा है। रामचरितमानस पर विवादित टिप्पणी का मामला काफी लंबे समय तक सुर्खियों में बना रहा। और अब नीतीश कुमार के मंत्रिमंडल में शामिल आरजेडी कोटे के मंत्री सुरेंद्र यादव ने भारतीय सेना पर बेहद आपत्तिजनक टिप्पणी की है। ऐसे में समझना मुश्किल नहीं है कि नीतीश सरकार पर अमित शाह किस तरह से हमला बोलेंगे।