राजधानी पटना के इन घाटों पर आप भी दे सकते हैं अर्घ्य, जानिए क्या है तैयारी और घाट जाने का रास्ता

राजधानी पटना में छठ महापर्व की तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। दीघा से लेकर पाटलिपुत्र तक घाटों की सफाई, सजावट और रोशनी का काम लगभग पूरा हो चुका है। प्रशासन ने सुरक्षा और सुविधा के लिए विशेष इंतजाम किए हैं।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 26 Oct 2025 09:59:51 AM IST

छठ पूजा

छठ पूजा - फ़ोटो Ani

राजधानी पटना में छठ महापर्व को लेकर गंगा घाटों और तालाबों पर शनिवार देर रात तक तैयारी का काम जारी रहा। दीघा, कलेक्ट्रेट, गांधी घाट से लेकर शहर के हर अंचल में नगर निगम, जिला प्रशासन और स्थानीय समितियां अंतिम चरण की तैयारियों में जुटी रहीं। शुक्रवार की शाम को जैसे ही घाटों पर रोशनी जली, पूरा पटना ‘छठ मय’ दिखाई देने लगा।


दीघा क्षेत्र के घाटों को लगभग पूरी तरह तैयार कर लिया गया है। यहां शिवा घाट, दीघा पाटीपुल घाट और मीनार घाट आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं। वॉच टावर और लाइट टावर की स्थापना पूरी कर ली गई है, ताकि श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुविधा सुनिश्चित की जा सके। इन घाटों की खासियत यह है कि यहां से मुख्य मार्ग तक की दूरी केवल 50 से 150 मीटर है, जिससे छठव्रतियों को ज्यादा पैदल नहीं चलना पड़ेगा।


दीघा क्षेत्र में सबसे बड़ी पार्किंग जेपी सेतु के पूर्वी छोर पर तैयार की गई है। यहां लगभग दो हजार वाहनों के पार्किंग की व्यवस्था की गई है। जेपी सेतु के नीचे पिलर नंबर 1 और 2 के बीच का इलाका पार्किंग स्थल बनाया गया है। घाटों पर दलदल न हो, इसके लिए बालू डाला जा रहा है।



जहां दीघा के घाट श्रद्धालुओं के लिए सुविधाजनक हैं, वहीं कलेक्ट्रेट घाट पर आने-जाने वालों को सबसे अधिक पैदल दूरी तय करनी होगी। गंगा का जलस्तर नीचे आने से पक्के घाटों पर सफाई और रंगाई-पुताई का काम तेजी से हुआ। नगर निगम के अधिकारियों ने बताया कि सभी घाटों की सफाई, बैरिकेडिंग, प्रकाश व्यवस्था और पानी की जांच युद्धस्तर पर जारी है।



पटना नगर निगम ने कुल 60 तालाबों को चिह्नित किया है, जहां छठ व्रतधारी अर्घ्य देंगे। इन तालाबों की सफाई, जलस्तर जांच, सुरक्षा और रोशनी की व्यवस्था को अंतिम रूप दिया जा रहा है। निगम के कर्मचारी और सफाई कर्मी शनिवार रात तक हर अंचल में सक्रिय रहे।



बांकीपुर अंचल में कुल 8 प्रमुख घाटतैयार किए गए हैं — बुद्ध मूर्ति तालाब, लालजी टोली घाट, सैमडर पार्क, भवानी पोखर पार्क, कांग्रेस मैदान, विजयपथ पार्क और पटना कॉलेजिएट स्कूल ग्राउंड। यहां रोशनी और बैरिकेडिंग का काम पूरा हो गया है।



अजीमाबाद अंचल में चित्रगुप्त तालाब को मुख्य छठ स्थल बनाया गया है। यहां जलस्तर की जांच और घाट की मजबूती पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।




नूतन राजधानी अंचल में 16 प्रमुख तालाबों को छठ घाट के रूप में तैयार किया गया है। इनमें महुआबाग (वार्ड 3), बीएमपी-05 (वार्ड 4), बीएमपी-10 (वार्ड 4), संजय गांधी जैविक उद्यान तालाब (वार्ड 9), मनीकचंद तालाब (वार्ड 10), कच्ची तालाब (वार्ड 14-16), शिवपुरी पार्क तालाब (वार्ड 12), अदालत गंज तालाब (वार्ड 21), पुलिस कॉलोनी के सी और डी सेक्टर पार्क, बजरंगबली मंदिर तालाब, श्रीकृष्णपुरी तालाब और बिहार गवर्नमेंट एनिमल हेल्थ एंड प्रोडक्शन इंस्टिट्यूट तालाब शामिल हैं।


हर तालाब के चारों ओर सुरक्षा के लिए बैरिकेडिंग लगाई गई है और पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था की गई है।




पाटलिपुत्र अंचल में *33 घाट** तैयार किए गए हैं। इनमें नेहरू नगर का शिव मंदिर घाट, शेखपुरा दुर्गा आश्रम, एक्साइज कॉलोनी, बैंक कॉलोनी मंदिर पार्क, रोड नंबर 24 और 14 (एएन कॉलोनी), ओम कुटीर शिवपुरी, विजय राघव मंदिर केशरी नगर, सीडीए कॉलोनी पार्क, राजवंशी नगर बोर्ड कॉलोनी, पुनाईचक पार्क, पंचमुखी हनुमान मंदिर, बिंदेश्वरी नगर पॉलीटेक्निक मोड़ और पी एंड टी कॉलोनी पार्क जैसे घाट प्रमुख हैं।


नगर निगम ने बताया कि इन घाटों पर पर्याप्त रोशनी, पीने के पानी, चिकित्सा सहायता और महिला सुरक्षा बल की व्यवस्था की जा रही है।



पटना जिला प्रशासन ने छठ पर्व को लेकर विशेष निगरानी योजना तैयार की है। हर घाट पर मजिस्ट्रेट और पुलिस बल की तैनाती होगी। भीड़ नियंत्रण के लिए अस्थायी बैरिकेड लगाए जा रहे हैं। जल पुलिस और एनडीआरएफ की टीमें भी गंगा घाटों पर मौजूद रहेंगी।




शनिवार की शाम से ही पटना के बाजारों में छठ सामग्री की खरीददारी को लेकर भारी भीड़ रही। सूप, दउरा, नारियल, ठेकुआ और केले की मांग बढ़ गई है। गंगा घाटों की ओर जाने वाले मार्गों पर रंगीन झालरें और लाइटें सजाई गई हैं।


*छठ पर्व पर श्रद्धा, स्वच्छता और सुरक्षा — यही पटना प्रशासन का लक्ष्य है।** रविवार सुबह से ही छठव्रती गंगा और तालाबों की ओर रवाना होंगे, जहां अस्ताचलगामी सूर्य को पहला अर्घ्य दिया जाएगा।