ब्रेकिंग न्यूज़

Teacher Jobs 2025 : बिहार में शिक्षक बहाली पर बड़ी घोषणा: TRE-4 की प्रक्रिया जल्द, 5 हजार से अधिक अनुकंपा नियुक्तियां भी होंगी Bihar News: 2030 तक बदलेगी पूर्व मध्य रेलवे की तस्वीर, पटना जंक्शन सहित बड़े स्टेशनों की क्षमता होगी दोगुनी; रेलवे ने बनाया बड़ा प्लान Bihar News: 2030 तक बदलेगी पूर्व मध्य रेलवे की तस्वीर, पटना जंक्शन सहित बड़े स्टेशनों की क्षमता होगी दोगुनी; रेलवे ने बनाया बड़ा प्लान New Year 2026: नए साल के आगमन से पहले वृंदावन में उमड़ी भारी भीड़, मंदिर प्रबंधन ने श्रद्धालुओं से की यह अपील New Year 2026: नए साल के आगमन से पहले वृंदावन में उमड़ी भारी भीड़, मंदिर प्रबंधन ने श्रद्धालुओं से की यह अपील Lakhisarai road accident : भीषण सड़क हादसा, दो बाइकों की आमने-सामने टक्कर में दो युवकों की मौत; दो गंभीर घायल बिहार के सरकारी अस्पताल की शर्मनाक तस्वीर: मरीज का चप्पल से पीटकर हो रहा इलाज, सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल; कहां हैं मंत्री जी? Saharsa News : मंडल कारा में बंद पॉक्सो आरोपी कैदी की संदिग्ध मौत, परिजनों ने लगाया हत्या का आरोप Bihar News: नए साल के जश्न में कहीं खाली न हो जाए बैंक खाता! SP ने न्यू ईयर पर लोगों को किया सचेत Bihar News: नए साल के जश्न में कहीं खाली न हो जाए बैंक खाता! SP ने न्यू ईयर पर लोगों को किया सचेत

शर्मसार हुई बिहार विधानसभा: सदन में विधायकों पर चीख-चिल्ला रहे थे मुख्यमंत्री नीतीश-अरे तुम बोलेगा, भगवाओ सबको, निकालो

शर्मसार हुई बिहार विधानसभा: सदन में विधायकों पर चीख-चिल्ला रहे थे मुख्यमंत्री नीतीश-अरे तुम बोलेगा, भगवाओ सबको, निकालो

14-Dec-2022 05:52 PM

PATNA: अपने 100 साल से ज्यादा के इतिहास में बिहार विधानसभा ने आज जैसा नजारा पहले कभी नहीं देखा होगा. सदन में खड़े होकर मुख्यमंत्री विधायकों पर चिल्ला रहे थे. अरे तुम बोलेगा...भगवाओ सब को, निकालो. चीख-चीख कर बोल रहे मुख्यमंत्री की जुबान से सिर्फ तू-तड़ाक ही निकल रहा था. ये वही सदन है जिसमें किसी विधायक को सिर्फ विधायक नहीं बल्कि माननीय विधानसभा सदस्य कह कर संबोधित किया जाता है. बिहार के मुख्यमंत्री का ये रूप तब सामने आया जब सदन में छपरा में जहरीली शराब से 20 लोगों की मौत का मामला उठा। 


ऐसे शुरू हुआ मामला

दरअसल बिहार के छपरा में जहरीली शराब से 20 लोगों की मौत हो गई है. जहरीली शराब पीने से बीमार पड़े कई लोगों का इलाज चल रहा है. जहरीली शराब से मौत को लेकर BJP ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को जिम्मेदार ठहराया. बुधवार को जैसे ही बिहार विधानसभा की कार्यवाही शुरू हुई वैसे ही बीजेपी के विधायकों ने हंगामा शुरू कर दिया. बीजेपी के विधायक वेल में आ गये और सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगे. उनका आरोप था कि जहरीली शराब से मौत के लिए नीतीश कुमार औऱ उनकी सरकार जिम्मेवार है।


सदन में जहरीली शराब को लेकर बीजेपी के विधायकों का हंगामा चल रहा था कि अचानक से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपनी सीट पर खड़े हो गये. सदन की परंपरा होती है कि विधानसभा अध्यक्ष की अनुमति से ही कुछ भी बोला जा सकता है. लेकिन नीतीश खुद उठ खड़े औऱ अचानक से जोर-जोर से चीखना शुरू किया. वह भी तब जब विधानसभा अध्यक्ष विपक्षी विधायकों को अपनी बात कह रहे थे. 


नीतीश कुमार ने उसी बीच खड़े होकर भाजपा विधायकों को चीख चीख कर क्या सब कहा ये देखिये “क्या हो गया, क्या हो गया. अरे...तुम बोल रहे हो...जहरीली शराब...इसका मतलब है कि तुम्हीं लोग गड़बड़ करा रहे हो...शराबी हो गया है तुम लोग...अच्छा किया जो तुम लोग को छोड़ दिया.”


नीतीश की जुबान मर्यादाओं को लांघ रही थी. सदन में शोर शराबे के कारण उनकी बहुत सारी बातें प्रेस गैलरी तक नहीं पहुंच पा रही थीं. लेकिन जो कुछ सुनने को मिला वह देखिये “ऐ….सब को भगवाओ यहां से. तुम शराब के पक्ष में बोल रहे हो.…अब तो बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करेंगे….  शराबी हो गया तुमलोग…इतना गंदा है….अब टॉलरेट नहीं किया जायेगा…..अब जो तुम लोग कर रहे हो…..ये पूरे बिहार में चलेगा…तुम लोग शराब के पक्ष में हो गया. “


विधानसभा अध्यक्ष को हुक्म दे रहे थे नीतीश?

विधानसभा हो या संसद, अध्यक्ष के पास ही सारे अधिकार होते हैं. लेकिन सदन में खड़े होकर बिहार के मुख्यमंत्री विपक्षी विधायकों पर चीख रहे थे-सब को भगवाओ यहां से...निकालिये. सदन से किसी को निकालने का अधिकार विधानसभा अध्यक्ष को हो ही होता है. जाहिर है नीतीश जो कह रहे थे उसका मतलब यही था कि वे विधानसभा अध्यक्ष को ही आदेश दे रहे थे।


हालांकि विधानसभा अध्यक्ष ने बीजेपी विधायकों को सदन से निकाला नहीं. बीजेपी के विधायक जहरीली शराब को लेकर सदन में प्लेकार्ड लहरा रहे थे. अध्यक्ष ने मार्शल को बुलाकर उन प्ले कार्ड को हटवाया. हंगामे के कारण बाद में सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गयी।


बता दें कि सदन के हर सत्र में जमसमस्याओं को लेकर विपक्षी विधायकों का हंगामा आम बात है. विधानसभा के हर सत्र में ऐसे हंगामे होते आये हैं. लेकिन किसी मुख्यमंत्री का इस तरह से चीखना-चिल्लाना, मर्यादा की रेखा लांघ जाना, विधानसभा ने शायद पहली बार देखा होगा।