KAIMUR : सात निश्चय योजना के तहत हर घर को नल का जल उपलब्ध कराना सरकार की प्राथमिकता है। इसको लेकर सूबे की सरकार काफी गंभीर है हालांकि इस योजना में गड़बड़ी के मामले भी सामने आते रहे हैं। योजना का हाल जानने के लिए अपने क्षेत्र में निकले पीएचईडी मंत्री उस वक्त भड़क गए जब वे इस योजना की जमीनी हकीकत से रूबरू हुए। मंत्री ने अधिकारियों को चेतावनी देते हुए यहां तक कह दिया कि अगर सात दिनों में ग्रामीणों को पानी नहीं मिला तो सभी को डिसमिस कर दूंगा।
दरअसल, हर घर नल का जल योजना की सफलता से गदगद बिहार सरकार के पीएचईडी मंत्री और कैमूर के जिला के प्रभारी मंत्री रामप्रीत पासवान अपने क्षेत्र में इस योजना की हकीकत को जानने के लिए निकले थे। इस दौरान ग्रामीणों ने मंत्री को बताया कि उन्हें इस योजना का कोई लाभ नहीं मिल रहा है और करीब 50 फीसदी लोग शुद्ध जल से महरूम हैं। जिसके बाद मंत्री रामप्रीत पासवान भभुआ प्रखंड के अखलासपुर पंचायत में कई घरों में पहुंचकर लोगों से योजना की जानकारी ली लेकिन सभी ने यही कहा कि उन्हें नल का जल नहीं मिल रहा है। ग्रामीणों की शिकायत से नाराज मंत्री ने अधिकारियों को कड़ी फटकार लगाई।
मंत्री रामप्रीत पासवान ने अधिकारियों को सात दिनों का अल्टीमेटम दिया है कि वे 7 दिनों के भीतर लोगों को नल का जल उपलब्ध कराएं। उन्होंने बंद पड़े चापाकलों को भी तत्काल शुरू करने का निर्देश अधिकारियों को दिया है। मंत्री ने कहा है कि सात दिन के बाद वे फिर क्षेत्र में आएंगे और योजना की जांच करेंगे । इस दौरान अगर गड़बड़ी मिली को अधिकारियों की खैर नहीं है। उन्होंने साफ लहजों में कह दिया है कि अगर सात दिन में व्यवस्था ठीक नहीं हुई तो सभी को डिसमिस कर दूंगा।