ब्रेकिंग न्यूज़

पटना में नगर निगम की लापरवाही से खुला मेनहोल बना जानलेवा, नाले में गिरा बच्चा पहली उड़ान बनी आखिरी सफर, सऊदी नौकरी पर निकले युवक ने फ्लाइट में दम तोड़ा, विदेश में नौकरी का सपना रह गया अधूरा जमुई में नक्सलियों की बड़ी साजिश नाकाम, जंगल से 24 सिलेंडर बम बरामद भागलपुर-हंसडीहा मुख्य मार्ग पर भीषण सड़क हादसा, महिला की मौत, 6 की हालत गंभीर Patna News: पटना एयरपोर्ट के लिए जारी हुआ नया आदेश, उल्लंघन किया तो होगी कड़ी कार्रवाई बेगूसराय में टला बड़ा हादसा: चलती ट्रेन के इंजन में लगी आग, यात्रियों ने कूदकर बचायी अपनी जान गांधी सेतु पर ट्रक और पिलर के बीच फंसा बाइक सवार, ट्रैफिक पुलिस ने किया रेस्क्यू AI in election: AI की चालबाज़ी से उलझे बिहार के वोटर! फर्जी कॉल्स-Deepfake से फैला भ्रम, अब चुनाव आयोग कसेगा शिकंजा! प्यार के लिए लड़का बना लड़की, अब पति किन्नर से शादी की जिद पर अड़ा Bihar politics : तेजस्वी ने किया 'महिला संवाद' पर हमला, जदयू का पलटवार...क्या महिलाओं की तरक्की से डरते हैं नेता प्रतिपक्ष?

Som Pradosh Vrat: सोम प्रदोष व्रत, भगवान शिव की कृपा प्राप्ति का उत्तम अवसर

प्रदोष व्रत हिन्दू धर्म के महत्वपूर्ण व्रतों में से एक है, जो विशेष रूप से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा के लिए समर्पित होता है। यह व्रत प्रत्येक माह में दो बार किया जाता है, जिनमें से एक सोमवार के दिन पड़ने वाला प्रदोष व्रत सोम कहलाता है।

Som Pradosh Vrat

Som Pradosh Vrat: प्रदोष व्रत हिन्दू धर्म का एक महत्वपूर्ण व्रत है, जिसे विशेष रूप से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा के रूप में किया जाता है। इस व्रत का महत्व और विशेषताएँ बहुत अधिक हैं, और यह व्रत विशेष रूप से सोमवार के दिन "सोम प्रदोष व्रत" के रूप में मनाया जाता है।


सोम प्रदोष व्रत का महत्व: 27 जनवरी 2025 को सोम प्रदोष व्रत है, जो सोमवार को पड़ने के कारण इसे सोम प्रदोष व्रत कहा जाएगा। यह व्रत विशेष रूप से उन लोगों के लिए लाभकारी होता है, जो भगवान शिव की कृपा प्राप्त करना चाहते हैं और जीवन के सभी संकटों से मुक्ति पाना चाहते हैं। मान्यता है कि इस व्रत को श्रद्धा और विश्वास के साथ करने से भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त होती है, जो जीवन के सभी कठिनाइयों को दूर करती है और सभी अधूरे काम पूरे होते हैं।


व्रत विधि और पूजा: सोम प्रदोष व्रत में भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा की जाती है। इस दिन विशेष रूप से शिव-शक्ति की पूजा करना और मंगलकारी मंत्रों का जाप करना अत्यंत लाभकारी होता है। भक्तजन इस दिन श्रद्धा से शिवलिंग पर जल, फूल, बेल पत्र और पंचामृत अर्पित करते हैं और विशेष पूजा विधियों का पालन करते हैं।


मंगलकारी स्तोत्र: सोम प्रदोष व्रत के दौरान इस स्तोत्र का पाठ करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है। यह स्तोत्र भगवान शिव की महिमा का गुणगान करता है और व्रति की पूजा में समृद्धि और पुण्य की प्राप्ति का कारण बनता है।


यह स्तोत्र भगवान शिव के विभिन्न रूपों और गुणों का वर्णन करता है, जैसे कि शिव ओंकार, शिव भक्ति, शिव शृंगार, और शिव मंगलम्। इस स्तोत्र का पाठ करने से मनुष्य की आस्थाएँ मजबूत होती हैं और भगवान शिव की कृपा की प्राप्ति होती है।


मंत्र का उच्चारण: सोम प्रदोष व्रत के दिन निम्नलिखित मंत्रों का उच्चारण करना चाहिए:


"ॐ मंगलम् ओंकार मंगलम्, शिव सत्य है, शिव अनंत है, शिव अनादि है, शिव भगवंत है, शिव ओंकार है, शिव ब्रह्म है, शिव शक्ति है, शिव भक्ति है।"


इसी प्रकार के मंत्रों का जाप करते हुए भगवान शिव की पूजा करनी चाहिए। इस व्रत से मानसिक शांति, आर्थ‍िक समृद्धि, और जीवन में सुख-संपत्ति की प्राप्ति होती है।


निष्कर्ष: सोम प्रदोष व्रत को करने से न केवल व्यक्ति के सभी संकट दूर होते हैं, बल्कि भगवान शिव की कृपा से जीवन में सुख और समृद्धि भी आती है। इस दिन भगवान शिव की पूजा करना विशेष रूप से लाभकारी होता है, और भक्तजन इस दिन को पूरी श्रद्धा और भक्ति के साथ मनाते हैं।