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Masik Shivratri 2025: कब है मासिक शिवरात्रि, भगवान शिव और मां पार्वती की आराधना का विशेष दिन

हर माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि पर मनाई जाने वाली मासिक शिवरात्रि (Masik Shivratri) भक्तों के लिए विशेष महत्व रखती है।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Mon, 27 Jan 2025 06:54:48 AM IST

Masik Shivratri 2025

Masik Shivratri 2025 - फ़ोटो Masik Shivratri 2025

Masik Shivratri 2025: हर माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि पर मनाई जाने वाली मासिक शिवरात्रि भक्तों के लिए गहन आध्यात्मिक और धार्मिक महत्व रखती है। इस पावन दिन पर श्रद्धालु भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा-अर्चना कर अपने जीवन में सुख, शांति और समृद्धि की कामना करते हैं।मासिक शिवरात्रि विशेष रूप से कुंवारी लड़कियों के लिए मनचाहा वर पाने और सुहागिन महिलाओं के लिए वैवाहिक जीवन को खुशहाल बनाने का अवसर होता है। इस दिन सच्चे मन और विधि-विधान से पूजा करने से शिव और शक्ति की कृपा प्राप्त होती है।


पार्वती चालीसा का पाठ इस दिन अत्यंत लाभकारी माना जाता है। इसे सही विधि और श्रद्धा से पढ़ने से न केवल भगवान शिव और मां पार्वती की अनुकंपा प्राप्त होती है, बल्कि भक्तों की मनोकामनाएं भी पूर्ण होती हैं। यह पाठ वैवाहिक जीवन में प्रेम और सामंजस्य बनाए रखने में भी सहायक है। ही विधि और श्रद्धा से इस चालीसा का पाठ करने से न केवल भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं, बल्कि वैवाहिक जीवन में भी प्रेम और सामंजस्य बना रहता है।


पूजा विधि और लाभ

मासिक शिवरात्रि की पूजा विधि और पार्वती चालीसा के पाठ का महत्व जानकर, इस दिन को भक्तिपूर्वक मनाने से जीवन में सकारात्मकता और दिव्यता का संचार होता है। मासिक शिवरात्रि पर भक्त प्रातः स्नान कर सूर्य देव को अर्घ्य देते हैं। घर या मंदिर को गंगाजल से शुद्ध कर भगवान शिव और मां पार्वती का ध्यान करते हुए पूजा करते हैं। इस दौरान पार्वती चालीसा का पाठ कर फल और मिठाई का भोग लगाना शुभ माना जाता है। अंत में प्रसाद का वितरण किया जाता है।


इस पवित्र दिन की आराधना से जीवन में सकारात्मकता, शांति और दिव्यता का संचार होता है। मासिक शिवरात्रि केवल धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि शिव और शक्ति के प्रति भक्तिभाव को गहराई से अनुभव करने का विशेष अवसर है।