शहीद जवान का पार्थिव शरीर पहुंचा बेगूसराय, लॉकडाउन के बावजूद अंतिम विदाई देने उमड़ी भीड़

शहीद जवान का पार्थिव शरीर पहुंचा बेगूसराय, लॉकडाउन के बावजूद अंतिम विदाई देने उमड़ी भीड़

BEGUSARI: त्रिपुरा में तैनात बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) जवान चंदन कुमार का पार्थिव शरीरआज उनके गांव पहुंचा। तिरंगे में लिपटे पार्थिव शरीर के घर पर पहुंचते ही माहौल एक बार फिर गमगीन हो गया और पूरा गांव अपने इस लाल की याद में रो उठा। शव देखते ही पत्नी और मां जहां लिपट कर बेहोश हो गई, वही गांव के अन्य लोगों के भी आंसू रुक नहीं रहे थे। वहीं लॉकडाउन की परवाह किए बगैर गांव के लाल को आखिरी विदाई देने के लिए लोग उमड़ पड़े। 


बेगूसराय के सांसद और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने शोक जताते हुए कहा है कि बीएसएफ में सिपाही के पद पर कार्यरत चंदन जी की आत्मा को प्रभु शांति दें एवं दुख की इस घड़ी में उनके परिवार को इस विपदा को सहने की शक्ति दें। इससे पहले चंदन कुमार का शव बीएसएफ के विशेष हेलीकाप्टर से बेगूसराय के उलाव हवाई अड्डा पहुंचा।


हवाई अड्डे पर बीएसएफ के अधिकारियों ने पूरे सैनिक सम्मान के साथ तिरंगा में लिपटे पार्थिव शरीर को हेलीकॉप्टर से उतारकर फूलों से सजे मिनी ट्रक में रखा। इस दौरान हवाई अड्डे पर मौजूद सदर एसडीओ संजीव कुमार चौधरी, डीएसपी राजन कुमार सिन्हा, भाजपा के राष्ट्रीय मंत्री सह विधान पार्षद रजनीश कुमार, भाजपा जिलाध्यक्ष राज किशोर सिंह, जिला महामंत्री कृष्ण मोहन पप्पू, मीडिया प्रभारी सुमित सन्नी, जिला मंत्री कुंदन भारती समेत अन्य लोगों ने पुष्पांजलि अर्पित कर नमन करते हुए अंतिम विदाई दी। इसके बाद सुरक्षा के बीच पूरे सैनिक सम्मान के साथ पार्थिव शरीर को पैतृक गांव भगवानपुर के बनवारीपुर लाया गया है। जहां की अंतिम संस्कार की तैयारी चल रही है। मौके पर अपने लाल को देखने के लिए लॉकडाउन की परवाह किए बगैर सैकड़ों लोग जुटे हुए हैं।


बता दें कि बेगूसराय जिला के बनवारीपुर निवासी चंदन कुमार बीएसएफ में कार्यरत थे। चार अप्रैल को ड्यूटी के दौरान ही त्रिपुरा में मौत हो गई। बताया जाता है कि खाना खाकर वह दूसरे पोस्ट पर ड्यूटी करने के लिए जा रहे थे तभी अचानक रास्ते में गिर कर बेहोश हो गए। जब तक साथी अस्पताल ले जाते उसी दौरान उनकी मौत हो गई। इस घटना के बाद परिजनों में कोहराम मच गया।बताया जा रहा है कि शनिवार की सुबह उन्होंने अपने परिवार के सदस्यों से बात की थी और फिर उसी दोपहर चंदन के शहीद होने की सूचना परिवार वालों को प्राप्त हुई ।