पटना : ATM काटने वाला शातिर गिरोह पकड़ में आया, दो महीने के अंदर काट डाली 4 मशीन

पटना : ATM काटने वाला शातिर गिरोह पकड़ में आया, दो महीने के अंदर काट डाली 4 मशीन

PATNA : राजधानी पटना समेत बिहार के दूसरे जिलों में भी लगातार एटीएम को अपराधी निशाना बना रहे हैं। नया ट्रेंड एटीएम मशीन को काट कर रकम निकाल लेने का है। पटना पुलिस ने एटीएम काटने वाले एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया है, जिसने 2 महीने के अंदर 4 एटीएम को निशाना बनाया। पटना के पॉश इलाके पाटलिपुत्र में किराए पर फ्लैट लेकर गिरोह के सदस्य रह रहे थे। स्कॉर्पियो पर घूमकर यह गिरोह एटीएम को निशाना बनाता था। पटना पुलिस ने गिरोह के दो सदस्यों को गिरफ्तार किया है। इनमें से एक अमीन का काम करता है तो दूसरा आईटीआई का संचालक है।


पटना के अलग-अलग इलाकों में ऐसे गिरोह ने 15 दिसंबर 2021 से लेकर बीते 3 फरवरी के बीच कुल चार एटीएम को काट डाला। तस्वीरों के जिन दो सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है। उनमें कौशल चौधरी और संतोष कुमार सोनी शामिल है। गोपालगंज और सिवान के इस गिरोह ने पटना के शास्त्री नगर कोतवाली दीघा और खगौल थाना इलाकों में कुल चार एटीएम को निशाना बनाया। कौशल चौधरी सिवान के बड़हरिया थाना इलाके का रहने वाला है और वह पटना में एक अपार्टमेंट के अंदर फ्लैट ले कर रहा था। वह कॉन्ट्रैक्ट पर अमीन का काम भी कर रहा है। वही संतोष कुमार सोनी गोपालगंज के मीरगंज थाना इलाके का रहने वाला है। वह गोपालगंज में एक आईटीआई चलाता है वह भी कौशल के साथ ही पटना में रह रहा था। हालांकि पुलिस इस गिरोह के सरगना को अब तक नहीं पकड़ पाई है माना जा रहा है कि गोपालगंज का रहने वाला मदन यादव इससे गिरोह का सरगना है।


गिरोह के सदस्यों की गिरफ्तारी के बाद जब पुलिस ने इन अपराधियों से पूछताछ की तो इन्होंने मदन यादव को ही अपना हेड बताया। मदन यादव ने ही इन्हें एटीएम काटने की ट्रेनिंग दी थी। मदन और गिरोह के अन्य सदस्यों ने यूट्यूब से एटीएम काटने और उखाड़ने की तरकीब सीखी. जब इन्हें पूरी टेक्निक आ गई उसके बाद यह एटीएम को निशाना बनाने लगे। एटीएम को निशाना बनाने के बाद यह सीसीटीवी कैमरे का डीवीआर भी उखाड़ लेते थे। एटीएम में जाने से पहले यह गलब्स हाथ में जरूर पहनते थे ताकि कहीं फिंगरप्रिंट ना छूट जाए। ड्रिल मशीन और कटर के जरिए एटीएम को तोड़ा जाता था। वेल्डिंग मशीन से चेस्ट करेंसी को काटा जाता था। और फिर पैसे निकाल लिए जाते थे। इस गिरोह का ठिकाना पुलिस को नहीं लगता। 


एटीएम को निशाना बनाने वाले इस गिरोह को दबोच ने के लिए पटना के एसएसपी ने एसआईटी का गठन किया था। एसआईटी ने फोन 4 एटीएम वाले लोकेशन के मोबाइल टावर से डंप डाटा निकाला। तकरीबन 200 नंबरों को खंगाला गया इसी दौरान यह जानकारी सामने आई कि सभी अलग-अलग चार लोकेशन पर जब एटीएम की चोरी की गई तो वहां कुछ नंबर कॉमन तौर पर मिले इनमें से दो नंबरों को पुलिस ने खंगालना शुरू किया और उसके बाद इस गिरोह के सदस्यों को दबोचा गया।