PATNA : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार शराबबंदी को लेकर काफी सतर्क हैं और इसमें किसी भी तरह की कोई भी कोताही बरतने के मूड में नजर नहीं आते हैं। दूसरी तरफ इस कानून का कितना पालन किया जा रहा है यह बातें अब राज्य में शायद ही किसी से छुपी हुई हो। आलम यह है कि इस कानून के पालन को लेकर बनाई गई पुलीस टीम पर आए दिन हमला कर दिया जाता है। इस बीच अब एक ताजा मामला राजधानी पटना से सटे इलाके मसौढ़ी का बताया जा रहा है।
मिली जानकारी के अनुसार, राजधानी से सटे इलाके पटना-गया-डोभी एन एच-83 के मसौढ़ी थाना स्थित जमालपुर गांव के पास उत्पाद विभाग द्वारा स्थापित मद्य निषेध जांच चौकी पर तैनात कर्मियों द्वारा टेपों पर सवार एक दुकानदार के साथ गुरुवार की दोपहर मारपीट करने का मामला प्रकाश में आया है। दुकानदार का आरोप है कि कर्मियों ने दुकानदार द्वारा शराब नहीं पीने के बावजूद उसे शराब पीने के जुर्म में जेल भेज देने का भय दिखा कर उससे 3800 रुपये लेकर वहां से भगा दिया।
उत्पाद विभाग के कर्मियों की प्रताड़ना से सहमा दुकानदार नदौल निवासी मो अख्तर वहां से वापस नदौल लौट कर अपने साथ घटित घटना की जानकारी पड़ोस के एक अन्य दुकानदार सह नदौल पंचायत के सरपंच मनोज कुमार को दी। मनोज कुमार ने दुकानदार के साथ घटित घटना की जानकारी तुरंत मसौढ़ी उत्पाद विभाग के अधीक्षक संजय कुमार को दी।
वहीं, इस मामले की जानकारी अधीक्षक को मिलने के तुरंत बाद उन्होंने पहले पीड़ित दुकानदार मो अख्तर को अपने कार्यालय में बुला पूछताछ की और तुरंत अपने एक पुलिस निरीक्षक अरविंद कुमार को दुकानदार के साथ चौकी पर भेजते हुए इसकी जांच कर रिपोर्ट देने का आदेश दिया। मामले को तूल पकड़ता देख चौकी पर तैनात कर्मियों के हाथ-पांव फुलने लगे। इस बीच पुलिस निरीक्षक अरविंद कुमार दुकानदार को लेकर चौकी पर पहुंचे। वहां पंचायत के सरपंच मनोज कुमार समेत अन्य कई लोग पहले से ही मौजूद थे. दुकानदार मो अख्तर ने चौकी पर पहुंचते ही वहां मौजूद एमटीएस के एक कर्मी अजय कुमार व निजी चालक जितेन्द्र कुमार की पहचान कर ली, जिस पर 3800 रुपये जबरन लेने का आरोप है।
इधर, इस मामले को लेकर पुलिस निरीक्षक ने वहां मौजूद आधा दर्जन पुलिस व अन्य से बारी-बारी से पूछताछ की। साथ ही वहां मौजूद सभी की तलाशी दुकानदार के सामने करायी। हालांकि तलाशी में किसी के पॉकेट से रकम बरामद नहीं हो पाया। वहीं पूछताछ में एमटीएस कर्मी अजय व चालक जितेन्द्र ने अपने ऊपर लगे आरोप से इंकार किया। उत्पाद अधीक्षक ने बताया कि जांच करायी जा रही है। दुकानदार से लिखित शिकायत ली गयी है। जांच के बाद जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ विधि सम्मत कार्रवाई की जायेगी।