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16-Apr-2020 01:09 PM
By tahsin
PURNIA : पूरा विश्व कोरोना की महामारी से लड़ रहा है। भारत में भी कोरोना का प्रकोप कम होने का नाम नहीं ले रहा और बात बिहार की करें तो यहां भी पिछले कुछ दिनों में मामले तेजी से बढ़े हैं। सरकार दावा कर रही है कि कोरोना की रोकथाम के लिए सारे आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं। लेकिन जिले के एक क्वारेंटाइन सेंटर की दुर्दशा देख कर व्यवस्था दुरूस्त होने की बात बेमानी लगती है। ऐसे तो कोरोना भागे ना भागे लेकिन भूख से तो इंसानित भाग जाएगी।
आपको लेकर चलते है जिले के बायसी प्रखंड के बंगाल सीमा के दालकोला चेकपोस्ट पर बने चिरैया मध्य विद्यालय स्थित क्ववारेंटीन सेंटर पर । जहां रह रहे लोगों पर भोजन की भी आफत पड़ी हुई है। क्वारेंटाइन किए गये लोग तो भूखे हैं ही पुलिस वाले भी भूखे ही ड्यूटी बजाने को मजबूर है। किसी तरह अगर खाना मिल भी गया तो पीने का पानी तक नसीब नहीं है।
इस क्वारेंटीन सेंटर में दर्जन भर से ज्यादा लोगों को रखा गया है साथ ही इसकी सुरक्षा के लिए यहां दो जमादार, दो हलवदार और आठ जवान तैनात किए गये हैं। पुलिस हवलदार अरूण कुमार सिंह बताते हैं कि पिछले 24 घंटे से भूखे हैं। किसी तरह चूड़ा फांक कर और बिस्किट खाकर ड्यूटी बजा रहे हैं। पुलिस के दर्जन भर जवान इस बारे में कहते हैं कि सीओ साहब के आदेश के बावजूद रसोइया को केंद्र से वापस भेज दिया गया है। इन्हें शिविर की तरफ से सिर्फ गैस सिलिंडर ही मिलता था जो , बाकी के राशन खुद के पैसे से लाते थे , मगर अब रसोइया भी नही आ रहा तो भूखे ही ड्यूटी निभानी पड़ रही है । लेकिन विद्यालय के प्रधानाध्यापक सह क्वारेंटीन सेंटर के व्यवस्थापक इमाम सैय्यद आलम बताते हैं कि प्रशासन की तरफ से दो टाइम के भोजन पकाने की मंजूरी मिली है उसका पालन किया जा रहा है।
अब या तो पुलिस वाले झूठ बोल रहे या फिर संचालक महोदय। इसका फैसला तो प्रशासन के आलाधिकारी ही करेंगे। जो भी हो लोग भूखे है उन्हें ठीक से भोजन नहीं मिल रहा । 14 दिनों का क्वारेंटाइन करना है एक-एक दिन रहना भारी पड़ रहा है। ऐसे में अब तो उपर वाले का ही सहारा रह गया है। हम भी अधिकारियों से गुजारिश करेंगे कम से कम इंसानियत के नाते यहां रह रहे लोगों को भोजन तो उपलब्ध करवाईए ।