BIHAR: हिंदू स्वाभिमान संगठन के कार्यकर्ताओं ने NDA उम्मीदवार को खदेड़ा, दिखाया काला झंडा CBSE Board Exam 2026: CBSE 10वीं और 12वीं बोर्ड एग्जाम की फाइनल डेटशीट जारी, दो बार होगी दसवीं की परीक्षा CBSE Board Exam 2026: CBSE 10वीं और 12वीं बोर्ड एग्जाम की फाइनल डेटशीट जारी, दो बार होगी दसवीं की परीक्षा Bihar Politics: ‘14 नवंबर को बिहार की जनता देगी जवाब’, युवा चेतना सुप्रीमो रोहित सिंह का तेजस्वी यादव पर बड़ा हमला Bihar Politics: ‘14 नवंबर को बिहार की जनता देगी जवाब’, युवा चेतना सुप्रीमो रोहित सिंह का तेजस्वी यादव पर बड़ा हमला Bihar Election 2025: गौराबौराम से VIP के संतोष सहनी महागठबंधन के उम्मीदवार घोषित, तेजस्वी यादव ने दिया जीत का आशीर्वाद Bihar Election 2025: गौराबौराम से VIP के संतोष सहनी महागठबंधन के उम्मीदवार घोषित, तेजस्वी यादव ने दिया जीत का आशीर्वाद Bihar Election 2025: बिहार में राजनीतिक रंजिश को लेकर मारपीट, ‘हाथी’ बनाम ‘लालटेन’ के विवाद को लेकर बवाल Test Cricket : टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में पहली बार होगा बड़ा बदलाव, लंच और टी ब्रेक का क्रम बदला जाएगा; जानिए क्या है वजह Bihar Voter Service : चुनावी सहायता अब आसान, बीएलओ के साथ करें कॉल बुक, इस टोल फ्री नंबर पर हल होंगी सभी दुविधाएं
13-Jul-2025 07:53 AM
By First Bihar
Bihar News: बिहार के आंगनबाड़ी केंद्र अब केवल पोषण वितरण का केंद्र नहीं रहेंगे, बल्कि जल्द ही इन केंद्रों में प्ले स्कूल जैसी कक्षाएं चलने वाली हैं। समेकित बाल विकास सेवा (ICDS) निदेशालय ने राज्य भर के आंगनबाड़ी केंद्रों में बच्चों के लिए एक नई शिक्षण व्यवस्था लागू करने की तैयारी शुरू कर दी है, जो अगस्त के दूसरे या तीसरे सप्ताह से लागू होने की संभावना है।
नई व्यवस्था के तहत हर दिन तीन शैक्षणिक कक्षाएं चलेंगी। बच्चों की हाजिरी भी लगेगी और स्कूल की तरह घंटी भी बजेगी। ये कक्षाएं बाल वाटिका और केंद्रीय विद्यालय मॉडल पर आधारित होंगी, जिससे बच्चों में प्रारंभिक शिक्षा के प्रति रुचि और आदत विकसित की जा सके।
अब तक राज्य के आंगनबाड़ी केंद्रों को मुख्यतः पोषण सामग्री वितरण का केंद्र माना जाता था, लेकिन अब वहां पोषण के साथ शिक्षा भी दी जाएगी। बच्चों को तीन से चार, चार से पांच और पांच से छह वर्ष के आयु वर्गों में बांटकर पढ़ाया जाएगा, ताकि वे प्रारंभिक शिक्षा से जुड़ें और प्राथमिक विद्यालयों में दाखिले के समय उन्हें लाभ मिले। समाज कल्याण विभाग की सचिव बंदना प्रेयसी ने बताया कि “अब आंगनबाड़ी केंद्रों में बच्चों को स्कूल जैसा माहौल मिलेगा। उनकी पढ़ने की आदत विकसित होगी, जिससे उनके संज्ञानात्मक विकास में मदद मिलेगी।”
हर आंगनबाड़ी केंद्र को बच्चों की संख्या के अनुसार ₹1,000 से ₹3,000 की राशि प्रदान की जाएगी। इस राशि से बच्चों के लिए शैक्षणिक सामग्री, बैठने की व्यवस्था, खिलौने, नोटबुक और अन्य जरूरी संसाधन खरीदे जाएंगे। ICDS निदेशक अमित कुमार पांडेय ने बताया कि सभी पंजीकृत बच्चों की सूची तैयार की जा रही है, ताकि राशि का सही वितरण किया जा सके।
नई सुविधाएं जोड़ी जाएंगी
बच्चों के बैठने की समुचित व्यवस्था
उम्र के अनुसार सॉफ्ट टॉय, पजल गेम्स, किचन सेट, कठपुतली, और शिक्षण उपकरण
खेल-खेल में पढ़ाई के लिए कहानियों और गतिविधियों पर आधारित सामग्री
सभी बच्चों को मिलेगा स्टील का गिलास, थाली और चम्मच, जिससे पोषण और स्वच्छता का भी ख्याल रखा जाएगा
बिहार के कुल 1,15,000 आंगनबाड़ी केंद्रों में यह व्यवस्था लागू की जाएगी, जिससे लगभग 95 लाख बच्चों को लाभ होगा। यह कार्यक्रम बच्चों के संज्ञानात्मक, सामाजिक और भावनात्मक विकास के उद्देश्य से शुरू किया जा रहा है। इस व्यवस्था को प्रभावी बनाने के लिए हर महीने निगरानी की व्यवस्था की गई है। ICDS एक विशेष मॉनिटरिंग टीम का गठन कर रहा है जो यह सुनिश्चित करेगी कि आंगनबाड़ी केंद्रों में बच्चों को शिक्षा मिल रही है या नहीं।
बिहार सरकार द्वारा आंगनबाड़ी केंद्रों में शिक्षा को शामिल करने का यह कदम राज्य के शिक्षा और पोषण के क्षेत्र में एक क्रांतिकारी बदलाव माना जा रहा है। इससे न सिर्फ बच्चों में पढ़ाई के प्रति रुचि बढ़ेगी, बल्कि प्राथमिक शिक्षा में उनका आधार भी मजबूत होगा।