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28-Jul-2025 12:44 PM
By First Bihar
UP Encounter: उत्तर प्रदेश के हापुड़ जिले में बीती रात नोएडा एसटीएफ, बिहार पुलिस और सिंभावली थाना की संयुक्त कार्रवाई में कुख्यात अपराधी डब्लू यादव को मुठभेड़ में मार गिराया गया। पुलिस को उसकी लोकेशन सिंभावली थाना क्षेत्र में मिली थी, जिसके बाद टीमों ने उसे घेर लिया। मुठभेड़ के दौरान डब्लू यादव घायल हो गया, जिसे अस्पताल ले जाया गया, लेकिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।
डब्लू यादव बिहार के बेगूसराय जिले के साहेबपुर कमाल थाना क्षेत्र के ज्ञानडोल गांव का रहने वाला था। वह पिछले 14–15 वर्षों से अपराध की दुनिया में सक्रिय था और बेगूसराय का कुख्यात गैंगस्टर माना जाता था। उसके खिलाफ हत्या, अपहरण, लूट, रंगदारी, गवाहों पर हमला और अवैध हथियारों से जुड़े 24 आपराधिक मामले दर्ज थे। अकेले साहेबपुर कमाल थाना में उसके खिलाफ 22 केस दर्ज थे। उस पर ₹50,000 का इनाम भी घोषित था।
डब्लू यादव ने एक सक्रिय अपराधी गिरोह (गैंग) खड़ा कर रखा था, जो जबरन वसूली, हथियारों की तस्करी, हत्या और डकैती जैसी वारदातों को अंजाम देता था। उसकी गैंग ने कई जिलों में अपना नेटवर्क फैला रखा था, खासकर बेगूसराय, मुंगेर और बलिया (यूपी) में। वह गवाहों को धमकाकर केस कमजोर करता था और अपने खिलाफ गवाही न देने का दबाव बनाता था।
डब्लू यादव का नाम हाल ही में उस समय सुर्खियों में आया जब 24 मई 2025 को हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) के नेता राकेश कुमार की अपहरण के बाद हत्या कर दी गई थी। उनके शव को बालू में गाड़ दिया गया था। इस घटना ने बिहार की राजनीति और कानून-व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए थे। मृतक के परिवार और समर्थकों ने बेगूसराय में सड़क पर प्रदर्शन किया था।
डब्लू यादव पर 2017 में एक गवाह की गोली मारकर हत्या करने का भी आरोप था। उसके खौफ से लोग उसका नाम लेने से भी डरते थे। पुलिस को कई बार शिकायतें मिली थीं कि वह गवाहों और पीड़ितों को धमकाता है ताकि केस कमजोर हो जाएं।
पुलिस को 27-28 जुलाई की रात सूचना मिली कि डब्लू यादव हापुड़ के सिंभावली क्षेत्र में छिपा है। इसके बाद नोएडा एसटीएफ, बिहार पुलिस और सिंभावली थाना की टीमों ने संयुक्त रूप से ऑपरेशन चलाया। जब उसे घेर लिया गया, तो उसने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में वह गोली लगने से घायल हुआ, और बाद में इलाज के दौरान उसकी मृत्यु हो गई। घटनास्थल से एक हथियार और कई कारतूस बरामद किए गए हैं।
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि, डब्लू यादव की गिरफ्तारी लंबे समय से बिहार पुलिस की प्राथमिकता में थी। उसकी मौत के साथ ही एक कुख्यात और खतरनाक अपराधी का अध्याय समाप्त हो गया है।