1st Bihar Published by: Updated Fri, 24 Dec 2021 09:41:20 AM IST
- फ़ोटो
PATNA : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत गठित राज्य स्तरीय सतर्कता और मॉनिटरिंग समिति की बैठक की. बैठक में एससी-एसटी से जुड़े मुकदमों के हर पहलू की जानकारी दी गई. मुख्यमंत्री ने कहा कि डीजीपी, सभी एसपी के साथ लंबित कांडों के अनुसंधान की महीने में कम से कम एक बार जरूर समीक्षा करें, ताकि मामलों का निष्पादन तेजी से हो सके. कंविक्शन रेट बढ़ाने के लिए स्पीडी ट्रायल हो, ताकि कमजोर वर्ग के लोगों को समय पर न्याय मिल सके.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पुलिस को बड़ी जिम्मेदारी सौंपी है. बैठक के बाद नीतीश कुमार ने पुलिस को बड़ा टॉस्क सौंपा है. उन्होंने डीजीपी एसके सिंघल से कहा-एससी-एसटी से जुड़े लंबित मुकदमों का 60 दिन में कोर्ट में चार्जशीट दाखिल हो. इसके लिए विशेष अभियान चलाया जाए. उन्होंने कहा कि एससी-एसटी के मुकदमों की सुनवाई के लिए 9 विशेष अदालतें जल्द बनें.
सजा बढ़ाने के लिए स्पीडी ट्रायल हो, ताकि समाज के कमजोर वर्ग के लोगों को समय पर न्याय मिल सके और विशेष लोक अभियोजकों की कार्यक्षमता की समीक्षा होनी चाहिए. साथ ही योग्य विशेष लोक अभियोजकों को दायित्व सौंपी जाए,ताकि वे कोर्ट में बेहतर ढंग से पक्ष रख सकें और इसके लिए अदालतों की संख्या बढ़ाई जाए. इन अदालतों में इस अधिनियम के तहत दर्ज मामलों की ही सुनवाई हो.
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि डीएम एवं एसपी जिलों में दर्ज मामलों की समीक्षा करें एवं पीड़ित व्यक्तियों को समय पर मुआवजा का भुगतान सुनिश्चित कराएं. जिला स्तर पर गठित सतर्कता एवं मॉनीटरिंग समिति के कार्यकलापों की भी नियमित समीक्षा हो. मुख्यमंत्री ने कहा कि जब से हमें काम करने का मौका मिला है, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के लोगों के कल्याण के लिए काफी काम किया गया है.