BEGUSARAI : देश में कोरोना का संक्रमण तेजी से फैल रहा है. संक्रमण की चेन को तोड़ने के लिए अब लॉकडाउन 3 की घोषणा की गई है. जिस कारण से जो लोग जहां हैं वहीं फंस गए हैं. इसी बीच लॉकडाउन के कारण कानपुर के चौबेपुर कस्बे से बिहार के बेगूसराय आई बारात 44 दिनों से यहीं फंसी है. दूल्हा समेत 10 बाराती लड़की वालों के यहां ठहरे हैं.
बताया जा रहा है कि कानपुर के चौबेपुर के हकीम नगर मोहल्ले से महबूब खान के बेटे इम्तियाज का निकाह बेगूसराय के देहलिया फतेहपुर गांव की खुशबू खातून के साथ तय हुई थी. 21 मार्च को शादी की तारीख थी. दूल्हा समेत 10 लोग बारात लेकर कानपुर से बेगूसराय पहुंचे थे. लेकिन निकाह के अहले ही दिन जनता कर्फ्यू की घोषणा हो गई और फिर देश में लॉकडाउन लग गया. जिस कारण दूल्हा- दुल्हन समेंत 10 बाराती बेगूसराय में ही फंस गए हैं.
लड़के वालों के पास जब पैसे खत्म हो गए तो दुल्हन ने अपने खाते से दो हजार रुपये निकालकर शौहर को दिए. बारात में दूल्हा इम्तियाज, पिता महबूब, मां शरीना बेगम, दूल्हे के खालू (मौसा) मझवन निवासी जलील खान, बहनोई नदीम नाजीन, मासूम नुजन, बिचवानी रियाज अहमद व पड़ोसी अकरम हैं जो बेगूसराय में फंसे हैं.
बताया जाता है कि दुल्हन के माता पिता नहीं हैं. जिस कारण उसके मामा ने शादी तय की थी. लड़की पक्ष ने दस दिन खाना खिलाने के बाद हाथ खड़े कर दिए. जिसके बाद अब लड़के के पिता ही बारात का खर्च उठा रहे हैं. वहीं दूल्हे के घर पर उसकी बहन और कुछ रिश्तेदार हैं. अब हाल ये है कि इनके पास भी खाने को कुछ नहीं बचा है. पड़ोसी भोजन दे रहे हैं.