JDU के एक विधायक की कीमत थी 10 करोड़: बिहार के ‘खेला’ की कहानी सामने आयी, तेजस्वी से लेकर राहुल गांधी पर आरोप

JDU के एक विधायक की कीमत थी 10 करोड़: बिहार के ‘खेला’ की कहानी सामने आयी, तेजस्वी से लेकर राहुल गांधी पर आरोप

PATNA: बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व में नयी सरकार बनने के बाद जमकर खेला हुआ. खेला ऐसा हुआ कि विधानसभा में अध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग के दौरान बीजेपी के तीन विधायक गायब हो गये. जेडीयू के दो विधायक गायब थे. राजद के तीन विधायकों ने सदन के बीच पाला बदल लिया और विपक्षी बेंच से उठकर सत्तापक्ष के साथ जा बैठे. ये खेला कैसे हुआ, इसकी कहानी सामने आयी है. कहानी ये है कि एक-एक विधायक को बिकने के लिए 10 करोड़ रूपये का ऑफर दिया जा रहा था.


जेडीयू विधायक का एफआईआर

ये सारी कहानी जेडीयू के विधायक सुधांशु शेखर के एफआईआर से सामने आयी है. सुधांशु शेखर ने पटना के कोतवाली थाने में 11 फरवरी को ही प्राथमिकी दर्ज करायी थी. आज वह एफआईआर सामने आया है. इसमें सुधांशु शेखर ये बता रहे हैं कि एक विधायक की कीमत कितनी थी और किन-किन विधायकों को खरीदने की कोशिश हुई. 


तेजस्वी के करीबी ने दिया 10 करोड़ का ऑफर

विधायक सुधांशु शेखर ने अपने एफआईआर में कहा है “मैं सुधांशु शेखर, विधायक, 31 हरलाखी विधान सभा क्षेत्र, मधुबनी हूं. मैं जनता दल यूनाइटेड राजनितिक दल का सदस्य हूँ. वर्तमान में दिनांक 12.02.2024 को हमारे दल की सरकार का विश्वासमत प्रस्ताव पेश होना है. मैं अपने पार्टी के नीतियों के साथ मजबूती से खड़ा हूँ.”


सुधांशु शेखर ने जो एफआईआर दर्ज करायी है उसमें आगे कहा गया है “दिनांक 09.02.2024 को रात्रि 08.32 मिनट पर मुझे मेरे मेहमान (बहनोई) रणजीत कुमार का हाजीपुर से मेरे मोबाइल न० 8809041093 पर वाट्सएप पर कॉल आया. उन्होंने मुझसे कहा कि इंजिनियर सुनील आये हैं, आपसे बात करना चाहते हैं. जब मैंने उनसे बात किया तो वे बोले कि आप महागठबंधन के साथ आ जाईये. अभी पांच करोड़ दे देते हैं और पांच करोड़ काम होने के बाद देंगे. नहीं तो मंत्री पद ले लीजिये. मैंने उनसे बाद में सोचकर बताते हैं, कहकर टाल दिया. उसने कहा कि कहियेगा तो हम डेरा पर आ जायेंगे, किदवईपूरी पटना में ही रहते हैं.”


राहुल गांधी के करीबी ने किया फोन

विधायक सुधांशु शेखर ने पुलिस को बताया है “दिनांक 10.02.2024 को 10.11 बजे सुबह पूर्व मंत्री नागमणि कुशवाहा के नंबर से वाट्सएप कॉल आया कि अखिलेश जी आपसे बात करना चाहते हैं, जल्द ही संपर्क करेंगे. पुनः एक घंटे के बाद 11.02 मिनट पर +32460220333 नम्बर से इन्टरनेट कॉल आया. बात करनेवाले व्यक्ति ने अपना नाम अखिलेश बताया और स्वयं को राहुल गाँधी का करीबी बताया और कहा कि आप हमारे साथ आ जाईये एवं इसके बदले में जो भी आपका डिमांड होगा, पूरा होगा. विश्वासमत प्रस्ताव में हमारे गठबंधन का सपोर्ट कीजिये.”


दूसरे विधायकों को भी खरीदने की कोशिश हुई

विधायक सुधांशु शेखर ने कहा है कि इसी तरह मेरे साथी विधायक कृष्ण मुरारी शरण को भी खरीदने की कोशिश हुई. कृष्ण मुरारी शरण नालंदा के हिलसा के विधायक हैं. उन्हें भी राजद प्रवक्ता शक्ति यादव का दिनांक 30/31 जनवरी 2024 को फ़ोन आया जो कह रहे थे कि एक व्यक्ति आपसे सुबह में मिलेगा, बात कर लीजियेगा. दूसरे दिन सुबह हिलसा क्षेत्र का ही रहनेवाला एक व्यक्ति उनसे मिला और कहा कि दिनांक 12.02.2024 को विश्वासमत प्रस्ताव में राजद के पक्ष में वोट करिए आपको मंत्री पद दिया जायेगा या जितना पैसा डिमांड कीजियेगा वह मिलेगा. हिलसा के विधायक ने उस व्यक्ति को तुरंत घर से जाने के लिए कह दिया.”


जेडीयू विधायक सुधांशु शेखर ने पुलिस को कहा है कि उन्हें जानकारी मिली है कि पार्टी के एक औऱ विधायक निरंजन कुमार मेहता को भी खरीदने की कोशिश की गयी. निरंजन मेहता को भी पैसे का प्रलोभन देने के साथ साथ धमकी भी दी गयी. पुलिस अगर उनसे पूछताछ करे तो सारी बात सामने आ जायेगी.


विधायकों के अपहरण का आऱोप

जेडीयू विधायक ने पुलिस के पास दर्ज करायी गयी एफआईआर में कहा है कि उन्हें साथी विधायकों से यह जानकारी प्राप्त हुई है कि जेडीयू के विधायक बीमा भारती और दिलीप राय को डरा धमका कर जबरन अपहरण कर लिया गया है. ताकि उन्हें 12.02.2024 को होने वाले विश्वासमत प्रस्ताव में मेरी पार्टी के खिलाफ वोट देने के लिए मजबूर किया जा सके. इन विधायकों के बारे में सभी संपर्क सूत्र और उनके परिवारजनों में पूछताछ करने पर अबतक उनका पता नहीं चल पाया है.


अपनी ही पार्टी के विधायक पर आरोप

जेडीयू के विधायक सुधांशु शेखर ने न सिर्फ तेजस्वी यादव के करीबी सुनील कुमार राय पर आरोप लगाया है बल्कि अपनी ही पार्टी के एक विधायक डॉ संजीव कुमार पर गंभीर आरोप लगाया है. उन्होने एफआईआर में लिखा है- “00ऐसी आशंका है कि मेरे दल के विधायक डो संजीव कुमार तथा राजद पार्टी से जुड़े इंजिनियर सुनील और उनके अन्य अजात सहयोगियों द्वारा आपराधिक षड्यंत्र कर उक्त अपहरण की घटना को अंजाम दिया गया है. इस पूरे प्रकरण में जेडीयू विधायक डॉ संजीव की भूमिका संदिग्ध है और वे पार्टी के कई विधायकों को राजद के पक्ष में वोट करने के लिए प्रलोभन देने के साथ साथ धमकी भी दे रहे हैं.”


पुलिस ने कहा-जांच कर रहे हैं

ये एफआईआर 11 फरवरी को ही दर्ज करायी गयी थी. वैसे बीमा भारती की अपहरण की बात कही गयी लेकिन वे आज विधानसभा में पहुंची थी. लेकिन विधायक दिलीप राय का कोई अता पता नहीं है. विधायक सुधांशु शेखर के बयान पर कोतवाली थाना पुलिस ने एफआईआर दर्ज किया है. कोतवाली डीएसपी कृष्ण मुरारी प्रसाद ने मीडिया को बताया कि पूरे मामले के एक-एक बिन्दू की जांच की जा रही है. पुलिस ने फिलहाल किसी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की है. पूरे मामले की छानबीन के बाद उचित कार्रवाई की जायेगी।