PATNA : बिहार विधानमंडल का बजट सत्र आगामी 25 फरवरी से शुरू हो रहा है. बजट सत्र काफी लंबा होगा और महीने भर के इस सत्र के दौरान सरकार को विपक्ष कई मुद्दों पर घेरने की तैयारी कर बैठा है. शिक्षा विभाग से जुड़े कई ऐसे मुद्दे भी हैं जिस पर विपक्ष और सत्तापक्ष के विधायक के एक साथ सदन में खड़े नजर आते हैं और सरकार को भारी फजीहत का सामना करना होता है.
बजट सत्र को देखते हुए सरकार ने ऐसे मुद्दों पर अभी से एक्शन लेना शुरू कर दिया है. राज्य के प्रारंभिक विद्यालयों में शिक्षा समिति के गठन का मामला लंबे अरसे से लंबित रहा है और अब शिक्षा विभाग में इसे 3 दिनों के अंदर निपटाने का फैसला किया है. राज्य के सभी प्रारंभिक स्कूलों में 3 दिनों के अंदर विद्यालय शिक्षा समिति का नए सिरे से गठन कर लिया जाएगा.
शिक्षा विभाग की तरफ से इस संबंध में दिशानिर्देश से जारी किया गया है. प्राथमिक शिक्षा निदेशक रवि प्रकाश ने सभी जिला शिक्षा पदाधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि हर हाल में 25 फरवरी तक स्कूलों में शिक्षा समिति का गठन हो जाए और इसके रिपोर्ट मुख्यालय को भेज दी जाए. शिक्षा निदेशक ने इस बात को लेकर नाराजगी जताई है कि अब तक राज्य के अंदर 10,000 से ज्यादा स्कूलों में शिक्षा समिति का गठन नहीं हुआ है.
आपको बता दें कि बिहार विधानमंडल के कई सत्रों में शिक्षा समिति के गठन में देरी का मामला उठाया है. पिछले शीतकालीन सत्र के दौरान भी यह मसला सदन में उठा था. विपक्ष और सत्तापक्ष के विधायक के इस मसले पर एक साथ सदन में सरकार के खिलाफ खड़े हो गए थे जिसके बाद प्राथमिक शिक्षा निदेशक ने 22 दिसंबर को शिक्षा समिति का गठन करने के लिए निर्देश भी दिया. लेकिन अब तक राज्य में 10,000 से ज्यादा स्कूलों में शिक्षा समिति का गठन नहीं किया जा सका है.
सरकार को ऐसा लग रहा है कि इस मसले पर एक बार फिर सत्र के दौरान सदन में सवाल हो सकता है और विधानसभा में दिए गए भरोसे को पूरा नहीं करने के कारण सरकार की फजीहत हो सकती है. लिहाजा अब आनन-फानन में सत्र शुरू होने से पहले शिक्षा समिति गठित करने के लिए एक्शन लिया जा रहा है.