एक्टर अक्षत उत्कर्ष की संदेहास्पद मौत मामले में पिता का बयान लेने मुजफ्फरपुर पहुंची मुंबई पुलिस, गाड़ी के आगे लेट गये चाचा..मांगने लगे इंसाफ

एक्टर अक्षत उत्कर्ष की संदेहास्पद मौत मामले में पिता का बयान लेने मुजफ्फरपुर पहुंची मुंबई पुलिस, गाड़ी के आगे लेट गये चाचा..मांगने लगे इंसाफ

MUZAFFARPUR: 27 सितंबर 2020 को मुंबई में मुजफ्फरपुर के रहने वाले एक्टर 26 वर्षीय अक्षत उत्कर्ष की संदेहास्पद मौत हो गयी थी। कमरे में उसकी लाश फंदे में लटका मिला था। घटना के दो साल बाद आज मुंबई पुलिस मृतक के पिता का बयान लेने के लिए मुजफ्फरपुर पहुंची। लेकिन तभी उनके भाई यानी मृतक के चाचा ने विरोध करना शुरू कर दिया। उन्होंने पुलिस पर पैसे लेकर केस दबाने का आरोप लगाया। उनका कहना था कि उनके भतीजे की हत्या हुई है उसे मारा गया है। हमें न्याय चाहिए...


सोमवार को जांच के लिए पहुंची मुंबई पुलिस ने उत्कर्ष के पिता विजयंत किशोर उर्फ राजू का बयान लिया और मुंबई लौटने लगे रहे थे तभी मृतक के चाचा विक्रांत किशोर विरोध करने लगे। उनका कहना था कि 9 फीट के कमरे में बिस्तर पर 6 फीट का उत्कर्ष कैसे लटक सकता है। विक्रांत किशोर ने आरोपियों से मिले होने का आरोप मुंबई पुलिस पर लगाते हुए पुलिस की गाड़ी के आगे ही लेट गये। 


यह कहने लगे कि जब तक मुझे मेरे सवालों का जवाब नहीं मिलेगा वे गाड़ी के आगे से नहीं हटेंगे। मुझ पर गाड़ी चढ़ा दीजिए। मृतक के चाचा ने पुलिस पर पैसे लेकर केस दबाने का आरोप भी लगाया। जिसके बाद वहां मौजूद अन्य लोगों ने विक्रांत किशोर को किसी तरह गाड़ी के आगे से हटाया और शांत भी कराया। मुंबई पुलिस के पास उनके सवालों का जवाब नहीं था। वे वहां से मुंबई के लिए रवाना हो गया। 


बता दें कि मृतक के घर पहुंचने से पहले मुंबई की अंबोली पुलिस मुजफ्फरपुर टाउन थाने पहुंची थी जहां थानेदार अनिल कुमार को पूरे मामले से अवगत कराया। कागजी प्रक्रिया भी पूरी की गयी। जिसके बाद टाउन थाना से भी पुलिस की टीम को मृतक के घर भेजा गया। अक्षत के घर पर पहुंची मुंबई पुलिस ने पिता का बयान दर्ज किया और कार्रवाई का आश्वासन देते हुए वहां से मुंबई के लिए रवाना हो गये। 


क्या हैं पूरा मामला?

गौरतलब है कि 26 वर्षीय अक्षत उत्कर्ष का शव 27 सितंबर 2020 को मुंबई के अंधेरी वेस्ट स्थित घर के कमरे से मिला था। अक्षत बिहार के मुजफ्फरपुर जिले के सिकंदरपुर के रहने वाले विजयंत किशोर का बेटा था। उसका शव कमरे में तौलिया के फंदे से लटकता मिला था। मुंबई के अंबोली थाना की पुलिस ने पोस्टमार्टम के बाद शव को परिजन के हवाले कर दिया था लेकिन FIR दर्ज नहीं की गयी। एक्टर के पिता विजयंत किशोर उर्फ राजू ने हत्या का आरोप लगाया था। 


मुंबई पुलिस से परिजन को कोई मदद नहीं मिली तो टाउन थाने में प्राथमिकी दर्ज की गयी। उसकी कॉपी अंबोली थाने को भेजी गई। जिसके बाद हत्या का मामला दर्ज हुआ। हत्या का मामला दर्ज होने के बाद भी पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। तब अधिवक्ता एसके झा ने सुप्रीम कोर्ट और मानवाधिकार आयोग को इसकी जानकारी दी। सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र विधिक सेवा समिति को कार्रवाई का आदेश दिया। आयोग ने मुंबई पुलिस को जांच करने का निर्देश दिया। तब जाकर सोमवार को मुंबई के अंबोली थाना से दो सदस्यीय टीम मृतक के पिता का बयान लेने के लिए मुजफ्फरपुर पहुंच गयी।


अक्षत एक नवोदित बॉलीवुड एक्टर था। उसने MBA करने के बाद बॉलीवुड में किस्मत आजमाने का फैसला लिया। उसके साथ उसकी महिला मित्र नोएडा की रहने वाली अपनी गर्लफ्रेंड के साथ रहता था। अक्षत को फिल्मों में छोटे-मोटे रोल भी मिल रहे थे। वह बॉलीवुड में अपना सिक्का जमाने को लेकर संघर्ष कर रहा था। गर्लफ्रेंड भी एक्टिंग कर रही थी। घटना की रात अक्षत ने अपने पिता से कॉल कर बात भी की थी। जिसके बाद उसकी मौत की खबर आई।


गर्लफ्रेंड ने मुम्बई पुलिस को बताया कि 'अक्षत अजीबो गरीब व्यवहार कर रहा था। रात को साथ में डिनर के बाद वह दूसरे कमरे में सोने चली गई थी। देर रात उसकी नींद अचानक से खुली तो उसने देखा कि हॉल में अक्षत फंदे से लटक रहा है।' इसके बाद उसने 100 नम्बर पर डायल कर पुलिस को इस घटना की जानकारी दी थी। हालांकि, मृतक के परिजन इस बयान से संतुष्ट नहीं थे। उन्होंने उसी समय हत्या करने की आशंका जताई थी, लेकिन मुंबई पुलिस ने कोई सहयोग नहीं किया था।


मामले पर मृतक के पिता ने बताया कि घटना के रोज रात नौ बजे बेटे से आखिरी बार बातचीत हुई थी। बेटे ने कहा था कि कुछ लोग आए हुए हैं उनसे बात कर रहा है बाद में कॉल करुंगा... इसके बाद उसका कॉल नहीं आया। रात साढ़े नौ बजे के बाद उसका वॉट्सऐप भी बंद हो गया। लास्ट सीन नहीं दिख रहा था। मोबाइल का कॉलर ट्यून भी बदल गया।


देर रात करीब साढ़े ग्यारह बजे उसकी रूम पार्टनर ने उत्कर्ष के मामा को कॉल कर आत्महत्या करने की सूचना दी। जिसके बाद मेरे साले ने उन्हें इसकी जानकारी दी। मुंबई पुलिस ने जब केस दर्ज नहीं किया तो अक्टूबर में टाउन थाना में जीरो FIR दर्ज कराई गई। जिसमें हत्या का आरोप स्नेहा चौहान और मीना समेत तीन पर लगाया गया था। तब जाकर अंबोली थाना में केस दर्ज हुआ। अब इतने दिनों बाद मुंबई पुलिस जांच करने पहुंची है। वो भी तब जब मानवाधिकार आयोग ने संज्ञान लिया है।


मृतक के पिता ने बताया कि दो साल बाद मुंबई पुलिस आज उनका बयान दर्ज कराने के लिए मुजफ्फरपुर आई थी। उनका बेटा अक्षत उत्कर्ष मुंबई में रहता था। लिट्टी चोखा और आशिकी फिल्म में उसे काम करने का मौका मिला था। जिसकी शूटिंग 4 अक्टूबर 2020 को प्रयागराज में होनी थी लेकिन इससे पहले 27 सितंबर को यह घटना घट गयी। उन्होंने बताया कि स्नेहा चौहान बेटे की रूम पार्टनर थी। जो उस पर शादी का दवाब बना रही थी। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि स्नेहा चौहान और उसके साथियों ने ही मिलकर उनके बेटे की हत्या की है। मृतक के पिता ने बताया कि मुंबई पुलिस ने विश्वास दिलाया है कि वे कार्रवाई करेंगे और जो भी इस मामले के आरोपी है उन्हें सलाखों के पीछे पहुंचाकर रहेंगे।