ब्रेकिंग न्यूज़

₹1 लाख करोड़ की रोजगार योजना आज से लागू, लाल किले से PM MODI का बड़ा ऐलान गांधी मैदान से CM नीतीश ने की कई बड़ी घोषणाएं...नौकरी के लिए परीक्षा देने वालों के लिए खुशखबरी, परदेश से घर आने वालों के लिए बड़ी घोषणा, और भी बहुत कुछ जानें... Asia Cup 2025: भारत के स्टार ओपनर को चयनकर्ताओं का झटका, बेहतरीन प्रदर्शन के बावजूद नहीं मिलेगी टीम में जगह Bihar News: गांधी मैदान से CM नीतीश का ऐलान- बताई अपनी प्राथमिकता, पूर्व की सरकार पर भी साधा निशाना Bihar Weather: 15 अगस्त को बिहार के इन जिलों में होगी बारिश, मौसम विभाग ने जारी किया अलर्ट बाढ़ पीड़ितों के लिए भोजपुर के बड़हरा में भोजन वितरण और सामुदायिक किचन का पांचवां दिन Bihar News: बिहार के इन 46 प्रखंडों में खुलेंगे नए प्रदूषण जांच केंद्र, बिहार सरकार दे रही इतनी सब्सिडी Bihar News: बिहार के इन 46 प्रखंडों में खुलेंगे नए प्रदूषण जांच केंद्र, बिहार सरकार दे रही इतनी सब्सिडी Bihar Police News: बिहार के इस जिले के 24 थानों में नये थानाध्यक्षों की तैनाती, SSP के आदेश पर बड़ा फेरबदल Bihar Police News: बिहार के इस जिले के 24 थानों में नये थानाध्यक्षों की तैनाती, SSP के आदेश पर बड़ा फेरबदल

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने ली MLC पद की शपथ, निर्विरोध हुए थे निर्वाचित

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने ली MLC पद की शपथ, निर्विरोध हुए थे निर्वाचित

18-May-2020 03:56 PM

DESK : निर्विरोध चुने जाने के बाद सोमवार को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने एमएलसी पद की शपथ ली. इसके  साथ ही महाराष्ट्र में संवैधानिक संकट टल गया है. इस दौरान सीएम की  पत्नी शर्मीला ठाकरे और दोनों बेटे भी विधान भवन में मौजूद रहे.

सीएम उद्धव ठाकरे के साथ ही  4 मई को निर्विरोध चुने गए अन्य आठ लोगों को ने शपथ ली. विधानपरिषद के अध्यक्ष रामराजे निम्बालकर ने सभी को सदस्यता दिलाई. विधान परिषद की उपसभापति नीलम गोरे, भाजपा के रणजीत सिंह मोहिते पाटिल, गोपीचंद पाडलकर, प्रवीण दटके और रमेश कराड, राकांपा के शशिकांत शिंदे और अमोल मितकरी तथा कांग्रेस के राजेश राठौड़ ने आज शपथ ली. इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा ख्याल रखा गया. सभी मास्क भी पहने दिखे. 

बता दें कि 28 नवंबर को उद्धव ठाकरे ने राज्य के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. इसी वजह से उन्हें विधानसभा या विधान परिषद दोनों में से किसी एक सदन का सदस्य चुना जाना जरूरी हो गया था. 6 महीने की समयसीमा के अंदर उन्हें किसी भी सदन का सदस्य निर्वाचित होना जरूरी था. लेकिन कोरोना संकट के चलते विधानपरिषद के चुनाव टल गए थे. फिर महाराष्ट्र के गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी ने विधानपरिषद के चुनाव जल्दी करवाने के लिए केंद्रीय चुनाव आयोग को चिठ्ठी लिखी थी. जिसके बाद केंद्रीय चुनाव आयोग ने फैसला लेते हुए महाराष्ट्र विधान परिषद का चुनाव करवाने को हरी झंडी दी थी.