Bihar Election 2025 : विधानसभा चुनाव में 10 पुलिसकर्मी ड्यूटी से गायब,पटना एसएसपी ने वेतन रोकने का आदेश दिया Bihar Election 2025: वजीरगंज में बसपा के राष्ट्रीय संयोजक आकाश आनंद का तीखा प्रहार, एनडीए और महागठबंधन पर साधा निशाना Bihar Election 2025: वजीरगंज में बसपा के राष्ट्रीय संयोजक आकाश आनंद का तीखा प्रहार, एनडीए और महागठबंधन पर साधा निशाना Bihar Election 2025 : पवन सिंह की रैली में उमड़ी भीड़, पंडाल गिरा; टली बड़ी दुर्घटना Train News: दो-चार-छह घंटे नहीं बल्कि ढाई दिन की देरी से खुली बिहार जाने वाली यह ट्रेन, यात्रियों ने रेलवे को खूब कोसा Train News: दो-चार-छह घंटे नहीं बल्कि ढाई दिन की देरी से खुली बिहार जाने वाली यह ट्रेन, यात्रियों ने रेलवे को खूब कोसा India Post Payment Bank : रातोंरात करोड़पति बना मैट्रिक का छात्र, किसान के बेटे के खाते में आए 21 करोड़ रुपये; जानिए क्या है पूरा मामला Bihar Election 2025: दूसरे चरण के मतदान से पहले प्रशासन अलर्ट, इन विधानसभा क्षेत्रों में सशस्त्र घुड़सवार दस्ते से होगी निगरानी देश में बड़ा आतंकी हमला नाकाम, गुजरात ATS ने ISIS के 3 आतंकवादियों को किया गिरफ्तार UPI Offline Payment: अब ऑफलाइन भी पैसे ट्रांसफर करना हुआ आसान, बिना इंटरनेट के UPI से ऐसे भेजें पैसे, जानिए.. पूरा प्रोसेस
03-Dec-2021 08:42 AM
PATNA : बिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र के दौरान गुरुवार को सदन में सीएजी की रिपोर्ट पेश की गई. सीएजी की ताजा रिपोर्ट में बिहार के अंदर बड़ी वित्तीय लापरवाही की पुष्टि हुई है. सीएजी ने सवाल उठाया है कि राज्य सरकार के विभाग 80000 करोड़ों रुपए के खर्च का हिसाब नहीं दे रहे हैं.
कैग रिपोर्ट में उपयोगिता प्रमाण पत्र को लेकर भी सरकार पर गंभीर सवाल खड़े किए गए हैं. 31 मार्च 2020 तक 79690.92 करोड़ के उपयोगिता प्रमाण पत्र लंबित थे. सीएजी की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक 9 साल का उपयोगिता प्रमाण पत्र अभी भी लंबित है.
बताते चलें कि, बिहार विधानसभा में गुरुवार को 31 मार्च 2020 को समाप्त हुए वित्तीय वर्ष का नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक की रिपोर्ट पेश किया गया. डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने विधानमंडल के दोनों सदनों में इस रिपोर्ट को रखा. नियंत्रक महालेखा परीक्षक की रिपोर्ट में राजकोषीय स्थिति की वास्तविक स्थिति को बताया गया है.
सीएजी की रिपोर्ट के मुताबिक वित्त वर्ष 2019-20 के दौरान 14,724 करोड़ का राजकोषिय घाटा दर्ज किया है, जो गत वर्ष की तुलना में 917 करोड़ यानी 6.64 प्रतिशत अधिक है. राज्य का प्राथमिक घाटा 2015-16 में 4,963 करोड़ से घटकर 2019-20 में 3,733 करोड़ हो गया है, जो वर्ष 2018-19 में 3,736 करोड़ की तुलना में मामूली कमी दर्ज की गई.