Bihar News: प्रदूषण प्रमाण पत्र के लिए अब करना होगा यह काम, लागू हुआ परिवहन विभाग का नया नियम Bihar Ias Officers: बिहार के 16 DM समेत 29 IAS अफसर 26 दिनों के लिए कहां जा रहे ? सरकार ने सभी अधिकारियों को भेजी जानकारी, लिस्ट देखें... Bihar News: तेजस्वी यादव का नीतीश कुमार पर तीखा हमला, सड़क से सदन तक आंदोलन की दे दी चेतावनी Samastipur News: निलंबित ASI के घर छापेमारी में हथियारों का जखीरा बरामद, STF के साथ मुठभेड़; सर्च ऑपरेशन जारी Bihar CM: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार दिल्ली रवाना, निजी कार्य या बड़ा गेम प्लान? जानिए.. Bihar Crime News: घर से उठाकर ओझा की हत्या, 17 लोगों पर FIR; 2 गिरफ्तार Bengaluru Stampede Update: बेंगलुरु भगदड़ कांड में बड़ा एक्शन, RCB के मार्केटिंग हेड एयरपोर्ट से अरेस्ट; 3 अन्य पर पुलिस का शिकंजा Bihar Job Camp: 24 हजार तक सैलरी, 300 पदों पर भर्ती; इस जिले में 4 दिन तक रोजगार मेला India-England Test Series: बदल गया भारत-इंग्लैंड सीरीज का नाम, अब इन दिग्गजों के नाम पर खेली जाएगी टेस्ट श्रृंखला Shashi Tharoor: अमेरिका में बैठ थरूर की पाकिस्तान को चेतावनी, बोले "धैर्य की परीक्षा ली तो अगली बार अंजाम होगा और भी भयानक"
1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 05 Jan 2025 09:00:50 AM IST
Ramayan - फ़ोटो Ramayan
Ramayan: रामायण में भगवान श्री राम और उनके परम भक्त हनुमान जी के बीच की मुलाकात एक महत्वपूर्ण और भावुक क्षण है। यह घटना उन समयों में घटित हुई जब भगवान राम अपनी पत्नी सीता की खोज में निकले थे। भगवान राम को पुरुषोत्तम कहा गया है, और उनके जीवन के सभी प्रसंगों में गहरी धार्मिक और आध्यात्मिक शिक्षा छुपी हुई है। हनुमान जी, जो भगवान राम के सबसे बड़े भक्त थे, उनका मिलन एक दिव्य घटना थी, जो आज भी लाखों लोगों के लिए श्रद्धा और भक्ति का स्रोत है।
हनुमान जी और राम जी की मुलाकात का समय और स्थान
यह घटना उस समय हुई जब भगवान राम और उनके भाई लक्ष्मण जंगल में माता सीता के हरण के बाद उनका पता लगाने के लिए भटक रहे थे। एक दिन वे ऋष्यमूक पर्वत के पास पहुंचे। इस पर्वत पर पहुंचते ही वानरराज सुग्रीव ने उन्हें पहचानने के लिए बजरंगबली हनुमान से कहा कि वह इन दोनों के बारे में जानकारी प्राप्त करें, ताकि यह पता चल सके कि ये लोग कौन हैं। हनुमान जी ने सुग्रीव की बात मानी और साधु का रूप धारण किया। उन्होंने राम जी से पूछा कि वे इस पर्वत पर क्यों आए हैं। इस पर भगवान राम ने जवाब दिया, "हम अपनी पत्नी सीता की खोज में निकले हैं, जिन्हें रावण ने अपहरण कर लिया है। हम उनका पता लगाने के लिए यहां आए हैं।"
प्रभु राम के उत्तर ने हनुमान जी को भावुक किया
राम जी के इस उत्तर को सुनकर हनुमान जी भावुक हो गए और उन्होंने क्षमा मांगते हुए कहा, "प्रभु, मुझे माफ करें, मैंने जो पूछा वह केवल मेरा कार्य था।" इसके बाद भगवान राम ने हनुमान जी को गले से लगा लिया। इस घटना के साथ ही रामायण में पहली बार भगवान राम और हनुमान जी की मुलाकात का प्रसंग सामने आया।
महत्वपूर्ण संदेश
हनुमान जी की भगवान राम से पहली मुलाकात में कई गहरे संदेश छिपे हुए हैं। इस मुलाकात के दौरान हनुमान जी ने अपनी निष्ठा और भक्ति का प्रमाण दिया, और राम जी ने अपने भक्त को गले से लगाकर यह दिखाया कि सच्चे भक्त की महिमा कभी भी कम नहीं होती। यह प्रसंग हमें यह भी सिखाता है कि भक्ति में न कोई ऊँच-नीच होती है, न कोई भेदभाव। भगवान के दरबार में हर भक्त समान है, और उनका आशीर्वाद उसी तरह सब पर बरसता है। यह घटना न केवल रामायण का महत्वपूर्ण भाग है, बल्कि यह हमें अपने जीवन में सच्ची भक्ति और निष्ठा की दिशा भी दिखाती है।