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1st Bihar Published by: FIRST BIHAR Updated Mon, 29 Sep 2025 05:51:14 PM IST
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Navratri 2025: शारदीय नवरात्रि 2025 का पावन पर्व अब समापन की ओर है। इस बार अष्टमी तिथि मंगलवार, 30 सितंबर 2025 को पड़ रही है। अष्टमी के दिन मां महागौरी की पूजा का विशेष महत्व होता है। इस दिन श्रद्धालु हवन और कन्या पूजन भी करते हैं, जो अत्यंत शुभ और फलदायक माना गया है।
मां महागौरी पूजन का शुभ समय
ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, अष्टमी तिथि पर यदि शुभ मुहूर्त में मां महागौरी का पूजन किया जाए, तो सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। वहीं राहुकाल, गुलिक काल, यमगण्ड, और दुर्मुहूर्त जैसे समय में पूजा करने से बचना चाहिए, क्योंकि ये अशुभ माने जाते हैं।
अष्टमी तिथि पर हवन का अभिजित मुहूर्त
11:47 AM से 12:35 PM तक (अभिजित मुहूर्त)
अष्टमी के दिन अशुभ मुहूर्त (इन समयों में पूजा से बचें)
राहुकाल: 03:09 PM से 04:39 PM तक
यमगण्ड: 09:12 AM से 10:41 AM तक
गुलिक काल: 12:11 PM से 01:40 PM तक
दुर्मुहूर्त: 08:36 AM से 09:24 AM तक
आडल योग: 06:13 AM से 06:17 AM तक
कन्या पूजन की सरल विधि
अष्टमी या नवमी के दिन कन्याओं को आदरपूर्वक घर बुलाएं। उन्हें स्वच्छ आसन पर बैठाएं और पैर धोकर सम्मान दें। इसके बाद उन्हें हलवा, पूड़ी और चने का भोजन कराएं। भोजन के पश्चात उन्हें दक्षिणा और उपहार दें तथा पैर छूकर आशीर्वाद लें। अंत में उन्हें सम्मानपूर्वक विदा करें।