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1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 23 Mar 2025 01:31:07 PM IST
प्रतीकात्मक तस्वीर - फ़ोटो Google
Bihar iftaar Politics : इमारत-ए-शरिया ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर धर्मनिरपेक्षता के वादे से पीछे हटने का आरोप लगाया है। संगठन का कहना है कि बीजेपी के साथ गठबंधन और वक्फ विधेयक को समर्थन देना उनकी प्रतिबद्धताओं के खिलाफ है।
बिहार में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव (Bihar Assembly Election 2025) होने हैं। इससे पहले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) को मुस्लिम संगठनों से करारा झटका लगा है। मुस्लिम संगठनों ने उनकी इफ्तार पार्टी (Iftaar Party) के बहिष्कार का ऐलान किया है। बताया जा रहा है कि इसके पीछे मुख्य कारण केंद्र सरकार के वक्फ विधेयक में संशोधन को जदयू (JDU) द्वारा समर्थन देना है।
इमारत-ए-शरिया ने इफ्तार पार्टी का विरोध किया
इमारत-ए-शरिया ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की इफ्तार पार्टी को लेकर एक पत्र जारी किया, जिसमें इस बहिष्कार की वजह स्पष्ट की गई। पत्र के अनुसार, 23 मार्च को आयोजित इफ्तार पार्टी को लेकर मुस्लिम समुदाय में असंतोष है क्योंकि वक्फ विधेयक में किए गए संशोधन से उनकी आर्थिक और शैक्षिक स्थिति प्रभावित हो सकती है।
नीतीश कुमार पर लगाए गंभीर आरोप
इमारत-ए-शरिया ने नीतीश कुमार पर धर्मनिरपेक्ष शासन की अपनी प्रतिबद्धता से समझौता करने का आरोप लगाया है। संगठन का कहना है कि बीजेपी के साथ गठबंधन और वक्फ बोर्ड संशोधन विधेयक का समर्थन मुस्लिम समुदाय के हितों के खिलाफ है।
पत्र में क्या लिखा गया?
संगठन ने अपने पत्र में कहा कि "सरकार की उदासीनता के कारण मुसलमानों की चिंताओं को नजरअंदाज किया जा रहा है, जिससे इस तरह की औपचारिक बैठकें और सभाएं निरर्थक लगने लगती हैं। इफ्तार आयोजन का उद्देश्य सद्भाव और विश्वास को मजबूत करना होता है, लेकिन केवल औपचारिक आयोजनों से भरोसा नहीं बनता, बल्कि इसके लिए ठोस नीतियों और सुधारात्मक कदमों की जरूरत होती है।"
आरजेडी ने किया मुस्लिम संगठनों के फैसले का समर्थन
मुख्यमंत्री की इफ्तार पार्टी के बहिष्कार के फैसले का राष्ट्रीय जनता दल (RJD) ने समर्थन किया है। राजद प्रवक्ता एजाज अहमद ने कहा कि "नीतीश कुमार की पार्टी मुस्लिम समुदाय के साथ दोहरी नीति अपना रही है। एक तरफ वह वक्फ विधेयक का समर्थन कर रही है और दूसरी ओर इफ्तार पार्टी का आयोजन कर रही है। यह विरोधाभास एक साथ नहीं चल सकता।" इसके अलावा, राजद ने यह भी कहा कि जदयू (JDU), टीडीपी (TDP) और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) [LJP (R)] सभी बीजेपी के एजेंडे के साथ खड़ी हैं।