Bihar Politics: मांझी के दलित समागम में पहुंचे सीएम नीतीश, गांधी मैदान में उमड़ा भारी हुजूम, हाथी पर बैठकर पहुंचे कार्यकर्ता

Bihar Politics: पटना के गांधी मैदान में जीतन राम मांझी की पार्टी हम ने दलित समागम रैली का आय़ोजन किया है. इस रैली में सीएम नीतीश कुमार ने मांझी के साथ मंच साझा किया है. इसके अलावा एनडीए के अन्य नेताओं के पहुंचने की संभावना है.

1st Bihar Published by: FIRST BIHAR Updated Fri, 28 Feb 2025 01:32:30 PM IST

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दलित समागम में सीएम नीतीश - फ़ोटो reporter

Bihar Politics: बिहार में इस साल विधानसभा का चुनाव होना है। ऐसे में चुनावी साल को देखते हुए सभी राजनीतिक दल अपनी तैयारियों में जुट गए हैं और कार्यकर्ताओं को अभी से ही एकजुट कर रहे हैं। इसी बीच जीतनराम मांझी की पार्टी हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा ने दलित समागम आयोजित की है। गांधी मैदान में आयोजित दलित समागम में सीएम नीतीश कुमार ने मांझी के साथ मंच साझा किया है।


हम के दलित समागम में कार्यकर्ताओं का हुजूम उमड़ा है। बड़ी संख्या में पार्टी के कार्यकर्ता और समर्थक पहुंचे हैं। हाथी और ऊंट पर बैठकर कार्यकर्ता गांधी मैदान में पहुंचे हैं। सीएम नीतीश कुमार और डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी दलित समागम में पहुंच चुके हैं, जहां जीतनराम मांझी और उनके बेटे मंत्री संतोष सुमन ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का गर्मजोशी के साथ स्वागत किया है। गठबंधन के अन्य नेताओं का भी इस दलित समागम रैली में पहुंचने का सिलसिला जारी है।


गांधी मैदान में आयोजित दलित समागम में बिहार के सभी जिलों से एक लाख से ज्यादा लोगों के शामिल होने का दावा किया जा रहा है। HAM की इस रैली में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, आरएलएम प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा समेत एनडीए के तमाम नेताओं को न्योता भेजा गया था। रैली को लेकर HAM के राष्ट्रीय अध्यक्ष और बिहार सरकार में मंत्री संतोष कुमार सुमन ने कहा था कि सभी जिले से दलित और वंचित जातियों के लोग शामिल होंगे।


इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य दलित समुदाय के लोगों को एक मंच पर लाना और उनकी आर्थिक, समाजिक समस्याओं और राजनीतिक अधिकारों पर चर्चा करना है। हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (सेक्युलर) के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं बिहार सरकार के मंत्री डॉ. संतोष सुमन ने कहा है कि दलित समागम, दलित समुदाय के लिए एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम होगा, जिसमें उनकी आर्थिक, समाजिक समस्याओं और राजनीतिक समस्याओं पर चर्चा की जाएगी और उनके अधिकारों के बारे में जागरूकता फैलाई जाएगी।