PATNA : बिहार कोरोना के दूसरी लहर की रफ़्तार धीमी पड़ने के साथ ही वैक्सीनेशन अभियान जोरों-शोरों से चल रहा है. इसी बीच पंचायत चुनाव को लेकर भी चर्चा चल रही है. लेकिन, पंचायत चुनाव में अखाड़े में उतरने वाले हमारे मुखिया जी ही अभी पूरी तरह से वैक्सीनेट नहीं हुए हैं. इन मुखिया जी से प्रशासन उनके पंचायत के लोगों को वैक्सीनेशन के प्रति जागरूक करने की अपील कर रहा है, लेकिन अपील के बाद भी अबतक खुद 68 फीसदी मुखिया ने ही वैक्सीन लगवाई है. वैक्सीन नहीं लेने वाले मुखिया अलग ही तर्क दे रहे हैं. कोई कह रहा है कि उन्हें डायबिटीज है तो कोई कह रहा है कि इसका रिएक्शन ठीक नहीं है.
ऐसे में बिना वैक्सीनेशन के अगर वे पंचायत चुनाव के अखाड़े में उतरते हैं, तो खुद भी संक्रमण का खतरा रहेगा और साथ में दूसरे को संक्रमित कर इसकी रफ्तार भी बढ़ा सकते हैं. राज्य के करीब 8406 ग्रामीण पंचायतों में से मात्र 5416 ने वैक्सीन लेने की बात कही, जबकि 2494 ने कहा कि अभी वैक्सीन नहीं ली है. शिवहर और गोपालगंज में 100 फीसदी मुखिया ने टीका ले लिया है.
शिवहर में 53 में से सभी मुखिया और गोपालगंज में भी 234 में से सभी मुखिया ने वैक्सीन ले ली है. लेकिन, लखीयराय, जमुई और बांका की स्थिति बहुत खराब है. लखीसराय में 65 फीसदी तो जमुई और बांका में 53 फीसदी ने वैक्सीन नहीं ली है. लखीसराय में 80 पंचायतों में से मात्र 28 मुखिया ने, जमुई में 153 पंचायतों में मात्र 71 ने और बांका में 185 पंचायतों में से मात्र 86 मुखिया ने ही टीका लिया है.
इधर पटना, वैशाली, भागलपुर और मुजफ्फरपुर जैसे प्रमुख शहरों की स्थिति भी काफी अच्छी नहीं है. भागलपुर में तो लगभग 49.5% मुखिया ने अभी तक वैक्सीन नहीं ली है. यहां 242 पंचायतों में से 122 के मुखिया ने वैक्सीन ली है, जबकि 120 ने नहीं ली है. पटना और मुजफ्फरपुर में 39 फीसदी ने वैक्सीन नहीं ली है.
मुजफ्फरपुर में 373 में से 145 ने और पटना में 304 में से 118 ने वैक्सीन नहीं ली है. पटना में लगभग एक दर्जन पंचायतों में मुखिया का पद रिक्त है. वैशाली में तो 53 फीसदी मुखिया ने अबतक वैक्सीन नहीं ली है. यहां 288 में से 135 पंचायतों के मुखिया ने वैक्सीन ली है और 153 ने वैक्सीन नहीं ली है.