PATNA: रेलवे में नौकरी देने के बदले जमीन लिखवाने के मामले में दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट में गुरुवार को सुनवाई हुई। आज सुनवाई के दौरान कोर्ट ने सभी आरोपियों को अपना पासपोर्ट अदालत में जमा करने का आदेश दिया है। बिना कोर्ट के आदेश के कोई भी आरोपी विदेश नहीं जा सकेंगे। मामले में आरोपी राजद सुप्रीमो लालू यादव, पूर्व सीएम राबड़ी देवी और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव, सांसद मीसा भारती समेत अन्य अब कोर्ट से आदेश मिलने के बाद ही विदेश जा सकेंगे। आरोपियों ने कोर्ट से समय मांगा इसपर कोर्ट ने अगली तारिख निर्धारित कर दी। इस मामले पर अगली सुनवाई 29 नवंबर को होगी।
दरअसल, तत्कालीन रेलमंत्री लालू प्रसाद पर आरोप है कि रेलमंत्री रहते हुए उन्होंने रेलवे में नौकरी देने के बदले अपने और अपने परिवार के नाम पर लोगों से उनकी जमीनें और फ्लैट रजिस्ट्री कराए थे। इस मामले में लालू प्रसाद, राबड़ी देवी, मीसा भारती और तेजस्वी यादव समेत 17 लोगों को आरोपी बनाया गया है। इस मामले में लालू समेत सभी आरोपी बेल पर हैं। पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने लालू यादव तेजस्वी यादव राबड़ी देवी और मिसा भारती को राहत दी थी। इसके बाद मामले को 2 नवंबर तक टाल दिया गया था। ऐसे में गुरुवार को इस मामले पर सुनवाई हुई है।
कोर्ट ने सुनवाई के दौरान सभी आरोपियों को आदेश दिया कि वे अपना पासपोर्ट अदालत में जमा कराएं। जिसपर आरोपियों की तरफ से कोर्ट से समय मांगा गया। कोर्ट ने आरोपियों को समय देते हुए सुनवाई की तिथि 29 नवंबर निर्धारित कर दी और जल्द से जल्द अपना पासपोर्ट जमा कराने का आदेश दिया। कोर्ट के इस आदेश के बाद अब लालू-राबड़ी और तेजस्वी समेत सभी आरोपी बिना कोर्ट के इजाजत के विदेश यात्रा पर नहीं जा सकेंगे।
बता दें कि लैंड फॉर जॉब स्कैम का मामला तब का है जब लालू यादव देश के रेलमंत्री थे. उनपर आरोप लगा है कि उन्होंने रेलवे में नौकरी के बदले बेशकीमती जमीन या तो उपहार स्वरूप या बेहद कम कीमतों मे ली. वहीं इस मामले में आरोप है कि इन जमीनों को लालू यादव ने अपने परिवार के नाम भी कराया। इस मामले मेंबीते 12 सितंबर को लालू प्रसाद यादव पर केस चलाने की इजाजत गृह मंत्रालय ने दे दी है। वहीं इस केस में तेजस्वी के खिलाफ दायर चार्जशीट को भी कोर्ट ने मंजूर कर लिया है। ऐसे में अब तेजस्वी यादव के खिलाफ भी केस चलेगा।