RANCHI : झारखंड में कोरोना वायरस कहर बरपा रहा है। राज्य में कोरोना संक्रमित मरीजों का आंकड़ा 63 पर पहुंच गया है। ज्यादातर मामले रांची के हिंदपीढ़ी से सामने आ रहे हैं। रांची के रिम्स में कोरोना वार्ड बनाया गया है जहां कोरोना मरीजों का इलाज चल रहा है। इन तमाम गतिविधियों के बीच रांची के रिम्स के पेईंग वार्ड में भर्ती आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव ने अपने कमरे से बाहर निकलना छोड़ दिया है।
डॉक्टरों ने लालू यादव को कोरोना संक्रमण के बीच ज्यादा सावधानी बरतने की सलाह दी है। डॉक्टरों की सलाह पर लालू यादव अपने हाथों को साबुन से साफ कर बार-बार सेनेटाईजर का इस्तेमाल कर रहे हैं। लालू यादव ने लॉकडाउन के बीच लगभग एक महीने से कमरे से निकलना छोड़ दिया है। अब तो उन्होनें टहलना बंद कर दिया है। खाना भी कम कर दिया है। लालू यादव का इलाज कर रहे डॉ उमेश प्रसाद ने बताया कि उन्हें अतिरिक्त सावधानी बरतने की सलाह दी गयी है साथ ही वार्ड में उनके सेवादार के भी कमरे से बाहर निकलने पर रोक लगा दी गयी है।
जानकारी के मुताबिक लालू यादव को शुगर के साथ-साथ ग्यारह अन्य बीमारियों ने भी अपने चपेट में ले रखा है। जिनमें हाई ब्लड प्रेशर, हार्ट, किडनी की बीमारियां भी शामिल हैं। इन बीमारियों के मद्देनजर डॉक्टरों ने पहले से ही लालू यादव के डायट को कंट्रोल कर रखा है। बीच-बीच में कुछ खास मौकों पर ही उन्हें तय डायट से बाहर जाकर खाने की इजाजत दी जाती है। सबसे ज्यादा लालू यादव को किडनी की बीमारी ने परेशान कर रखा है। किडनी की बीमारी के इलाज के लिए वे मुंबई भी जा चुके हैं। वहीं बीच में उन्हें दिल्ली एम्स भेजने की बात भी सामने आयी थी।
गौरतलब है कि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री रहे लालू यादव चारा घोटाला के कई मामलों में सजा काट रहे हैं। रांची की विशेष सीबीआई अदालत चारा घोटाले में दुमका कोषागार से 3.13 करोड़ रुपये की अवैध निकासी के मामले में अदालत ने अलग-अलग सात-सात साल की सजा सुना चुकी है। इसके अलावे कोर्ट लालू यादव को चाईबासा से 37.37 करोड़ रुपये की निकासी के मामले में 5 साल की सजा, देवघर से 84.53 लाख रुपये निकासी के मामले में साढ़े तीन साल की सजा, चाईबासा के एक और मामले में 33.67 करोड़ रुपये की अवैध निकासी के मामले में पांच साल की सजा सुना चुका है।