अमित कात्याल के खिलाफ ED का एक्शन, एकसाथ कई ठिकानों पर रेड, लैंड फॉर जॉब केस में हुई थी लालू के करीबी की गिरफ्तारी

अमित कात्याल के खिलाफ ED का एक्शन, एकसाथ कई ठिकानों पर रेड, लैंड फॉर जॉब केस में हुई थी लालू के करीबी की गिरफ्तारी

PATNA: लालू परिवार के करीबी कारोबारी अमित कात्याल के ठिकानों पर ईडी ने छापेमारी की है। ईडी की टीम दिल्ली, गुरुग्राम और सोनीपत में कात्याल के कई ठिकानों पर छापेमारी कर रही है।लैंड फॉर जॉब केस में कात्याल को पिछले साल नवंबर में ईडी ने गिरफ्तार किया गया था। अमित कात्याल पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव के करीबी बताए जाते हैं। कात्याल एके इंफोसिस्टम प्राइवेट लिमिटेड का प्रोमोटर है।


अमित कात्याल के आवास अन्य अन्य स्थानों पर प्रवर्तन निदेशालय की टीम सर्च ऑपरेशन कर रही है। अमित के कृषि बिल्ड टेक ग्रुप के खिलाफ ईडी कार्रवाई कर रही है। जानकारी के मुताबिक, दिल्ली, गुरूग्राम और सोनीपत में 'कृष्ण बिल्डटेक प्राइवेट लिमिटेड' के कुल 27 परिसरों की तलाशी ली जा रही है। हरियाणा के इस कंपनी के मालिक अमित कात्याल और राजेश कात्याल हैं।


बताया जा रहा है कि ईडी की यह जांच कंपनी के प्रोमोटरों के द्वारा घर खरीददारों की 400 करोड़ रुपये की धनराशि की कथित हेराफेरी और उन्हें विदेश में खपाने से जुड़ी है। ईडी ने आरोप लगाया कि अमित कात्याल ने घर खरीददारों की 200 करोड़ रुपये से अधिक रकम श्रीलंका भेजी। रेलवे के चर्चित लैंड फॉर जॉब स्कैम में मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े मामले में ईडी ने बीती 11 नवंबर को लालू के करीबी अमित कात्याल को गिरफ्तार किया था।


लैंड फॉर जॉब मामले में लालू प्रसाद यादव के करीबी आरोपी अमित कात्याल की अंतरिम जमानत याचिका पर आज राउज एवेन्यू कोर्ट में सुनवाई होनी थी हालांकि इसी बीच ईडी ने कात्याल के ठिकानों पर रेड शुरू कर दिया है। आरोप है कि लालू प्रसाद के रेल मंत्री रहते हुए रेलवे में नौकरी लगवाने के बदले में कई लोगों से उनकी जमीन लालू यादव और उनके परिवार के सदस्यों के नाम लिखवा ली गई थी। अमित कात्याल एक कारोबारी है। अमित की कंपनी का नाम जमीन के बदले नौकरी मामले में मनी लॉन्ड्रिंग को लेकर सामने आया था।


अमित कात्याल वही कारोबारी है जिसने बिहार में राबड़ी देवी की सरकार के समय पटना के बिहटा के पास बीयर फैक्ट्री लगायी थी। उस कंपनी में लालू-राबड़ी की एक बेटी को डायरेक्टर भी बनाया गया था। बाद में कात्याल ने AK इंफोसिस्टम नाम की कंपनी बना ली। इस कंपनी ने बड़े पैमाने पर जमीन खरीदी। इस कंपनी को जमीन बेचने वाले में ऐसे लोग भी शामिल थे जिनके परिजनों को लालू प्रसाद यादव के रेल मंत्री रहते रेलवे में नौकरी दी गयी थी।