DELHI : नए कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहा किसान आंदोलन बेहद महत्वपूर्ण दौर में पहुंच चुका है. किसान संगठनों ने गणतंत्र दिवस यानी 26 जनवरी को राजधानी दिल्ली में ट्रैक्टर रैली निकालने का ऐलान किया है और दिल्ली पुलिस से इसकी इजाजत मांगी है. इसी मामले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई करने वाला है. सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई के साथ यह बात साफ हो जाएगी कि किसान संगठन 26 जनवरी को रैली निकाल पाएंगे या नहीं. सुप्रीम कोर्ट में होने वाली सुनवाई पर आज सबकी नजरें टिकी हुई है.
दिल्ली बॉर्डर पर किसान आंदोलन को लगभग 2 महीने पूरे होने को है अब तक के किसान संगठनों और सरकार के बीच 9 दौर की बातचीत हो चुकी है, लेकिन किसी भी मसले पर सहमति नहीं बन पाई है. किसान संगठन लगातार इस मांग पर अड़े हैं कि केंद्र सरकार ने कृषि ग्रामीणों को वापस ले. सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में अहम सुनवाई करते हुए यह फैसला दिया था कि नए कृषि कानून स्थगित रखी जाए.
सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में एक कमेटी भी बनाई थी लेकिन कमेटी के सदस्य भूपेंद्र सिंह मान ने इस से खुद को अलग कर लिया. इस कमेटी में अभी भी अशोक गुलाटी प्रमोद जोशी और अनिल धनवंत शामिल है. 19 जनवरी को इस कमेटी की पहली बैठक होने वाली है. भारतीय किसान यूनियन लोक शक्ति में इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. सुप्रीम कोर्ट से अपील की गई है कि कृषि कानून के मामले में जो कमेटी गठित की गई है उसे दोबारा बनाया जाए. याचिका में यह आरोप लगाया गया है कि कमेटी के सभी सदस्य पहले से ही कानून के समर्थक में रहे हैं ऐसे में उनके साथ न्याय नहीं होगा.