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1st Bihar Published by: Updated Thu, 22 Jul 2021 10:55:33 AM IST
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PATNA : जम्मू कश्मीर में एक बार फिर नियमों में बदलाव किये गए हैं. अब जम्मू कश्मीर की महिलाओं से शादी करने वाले दूसरे राज्यों के लोग भी अब वहां के नागरिक माने जाएंगे. जम्मू-कश्मीर सरकार ने केंद्र शासित प्रदेश की डोमसाइल कानूनों में बदलाव करते हुए यह बड़ा फैसला लिया और ऐलान किया है कि केंद्र शासित प्रदेश की मूल निवासी महिला के पति को भी आवास प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा. इससे पहले केवल केंद्र शासित प्रदेश के मूल निवासी को ही आवास प्रमाण पत्र की प्राप्ति के लिए योग्य माना जाता था और दूसरे राज्यों के व्यक्ति को इसके लिए योग्य नहीं माना जाता था.
उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने भारतीय संविधान के अनुच्छेद 309 और जम्मू-कश्मीर सिविल सर्विसेज एक्ट, 2010 के तहत जम्मू-कश्मीर डोमिसाइल प्रमाणपत्र (प्रक्रिया) नियमों में एक प्रावधान और जोड़ा है. यह प्रावधान सुनिश्चित करता है कि जम्मू-कश्मीर के डोमिसाइल से शादी करने वाला कोई भी नागरिक यहां का डोमिसाइल प्रमाणपत्र प्राप्त कर सकता है. इस बदलाव के बाद जम्मू-कश्मीर में डोमिसाइल प्राप्त करने के प्रविधान अब छह से बढ़कर सात हो गए हैं.
सातवें प्रावधान के मुताबिक, अगर जम्मू-कश्मीर के डोमिसाइल युवक या युवती ने किसी अन्य राज्य में शादी की है या किसी गैर डोमिसाइल से शादी की है, तो वह जीवनसाथी भी जम्मू-कश्मीर का स्थानीय निवासी बनने का हकदार होगा. उसे अपनी शादी का प्रमाणपत्र और पत्नी का डोमिसाइल संबंधित तहसीलदार के समक्ष पेश करना होगा.
जानकारी हो कि 5 अगस्त 2019 को जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम लागू होने साथ ही राज्य दो केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू कश्मीर व लद्दाख में पुनर्गठित हुआ. अनुच्छेद 370 और 35ए समाप्त हो गए. सभी नागरिक बराबर हो गए. जम्मू कश्मीर के लोगों द्वारा पहचान और रोजगार का मुद्दा उठाने पर केंद्र सरकार ने डोमिसाइल प्रमाणपत्र का प्रावधान किया. इसके मुताबिक, जम्मू-कश्मीर में 15 वर्ष तक निवास करने वाला, वहां पैदा होने वाला, दसवीं की पढ़ाई करने वाला डोमिसाइल प्राप्त करने और जम्मू-कश्मीर सरकार के विभागों में नौकरी के लिए आवेदन कर सकता है. इस नियम में जम्मू-कश्मीर की स्थानीय निवासी युवती से शादी करने वाले अन्य राज्यों के युवक या गैर डोमिसाइल युवक का उल्लेख नहीं था.