DELHI : पूणे से दिल्ली आ रही एयर एशिया की फ्लाइट में कोरोना वायरस के एक संदिग्ध यात्री के सफर करने की खबर फैलने के बाद पूरे जहाज में अफरा-तफरी मच गयी. आलम ये हुआ कि हवाई जहाज की लैंडिंग के बाद दोनों पायलट ने गेट से बाहर आने के बजाय खिड़की से बाहर आने का रास्ता चुना. वे जहाज की कॉकपिट की खिड़की से बाहर निकले.
एयर एशिया के प्रवक्ता का बयान
भारत में विमान सेवा दे रही एयर एशिया के प्रवक्ता ने कहा है “पूणे से दिल्ली आने वाली एयर एशिया का फ्लाइट संख्या I5-732 में कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज होने की खबर मिली. संदिग्ध मरीज बताया जा रहा यात्री विमान की पहली कतार में ही बैठा था. इसके बाद सभी मरीजों की स्क्रिनिंग की गयी. इसमें कोई भी यात्री कोरोना से ग्रसित नहीं पाया गया.”
एयर एशिया के प्रवक्ता के मुताबिक इस विमान को लैंडिंग के बाद बाकी विमानों से अलग खड़ा किया गया. संदिग्ध मरीजों को हवाई जहाज के आगे के दरवाजे से निकाला गया. बाकी के सभी यात्रियों को पीछे के दरवाजे से निकाला गया.
हवाई जहाज को उड़ा रहे पायलटों ने खुद को कॉकपिट में बंद रखा. वे तब तक कॉकपिट में रहे जब तक जहाज के गेट को डिसइंफेक्टेड नहीं कर लिया गया. इसके बाद दोनों पायलट ने हवाई जहाज के गेट से बाहर निकलने के बजाय कॉकपिट की खिड़की से बाहर आने का रास्ता चुना. दरअसल किसी भी वायुयान में कॉकपिट में बने खिड़कियों को आपात स्थिति में खोलने की व्यवस्था होती है. पायलट ने इसी आपात खिड़की से बाहर आने का फैसला लिया.
एयर एशिया के प्रवक्ता के मुताबिक यात्रियों के उतरने के बाद पूरे जहाज को डिसइंफेक्टेड किया गया. पूरे जहाज की अच्छी तरह से सफाई की गयी. एयर एशिया ने दावा किया है कि उसके सारे कर्मचारी ऐसी स्थितियों से निपटने के लिए पूरी तरह प्रशिक्षित हैं और वे यात्रियों को कोरोना के खतरे से बचाने की हर तरह की कोशिश कर रहे हैं.