PATNA: बिहार के नियोजित शिक्षकों से जुड़ी इस वक्त की बड़ी खबर पटना से आ रही है। बिहार के 4 लाख नियोजित शिक्षकों को जल्द राज्यकर्मी का दर्जा मिल सकता है। सूत्रों के हवाले से जो जानकारी मिल रही है उसके अनुसार दुर्गा पूजा से पहले बिहार सरकार यह तोहफा शिक्षकों को दे सकती है। यदि ऐसा हुआ तो शिक्षकों के लिए यह बड़ा तोहफा होगा। बता दें कि बिहार के नियोजित शिक्षक कई दिनों से यह मांग मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से कर रहे थे।
सूत्रों की माने तो बिहार के नियोजित शिक्षकों की यह मांग नीतीश सरकार जल्द पूरी करने वाली है। बहुत जल्द इन नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाएगा। दुर्गा पूजा से पहले सरकार यह बड़ा तोहफा नियोजित शिक्षकों को दे सकती है। इसकी घोषणा अक्टूबर महीने में की जा सकती है। यदि नीतीश सरकार की ओर से इसकी घोषणा होती है तब बिहार के करीब 4 लाख से ज्यादा शिक्षकों को इसका फायदा मिलेगा। हालांकि ये अभी तय नहीं हो सका है कि बीपीएससी की परीक्षा लेने के बाद राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाएगा या फिर बिना परीक्षा लिए ही नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी किया जाएगा।
अपनी इस मांग को लेकर नियोजित शिक्षा लंबे समय से आंदोलन करते आ रहे हैं। लगातार धरना प्रदर्शन और जुलूस निकालते आ रहे हैं। लेकिन अब ऐसा लग रहा है कि इसे लेकर नीतीश सरकार गंभीर है। नीतीश कुमार ने शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक को नया सिस्टम तैयार करने का टास्क दिया था। जो पूरा हो गया है। अब कभी भी इस पर कैबिनेट में फैसला लिया जा सकता है।
यदि राज्यकर्मी का दर्जा नियोजित शिक्षकों को मिला तब बीपीएससी के शिक्षकों के बराबर इनका वेतन हो जाएगा। इसे लोकसभा चुनाव से जोड़कर भी देखा जा रहा है। नीतीश कुमार खुद चाहते हैं कि इस चुनाव से पहले नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी का दर्जा मिले। इसके बजट को लेकर भी चर्चा हो चुकी है। इससे पहले इसे लेकर महागठबंधन के नेताओं के साथ भी बैठक हो चुकी है।
अब सभी नियोजित शिक्षकों की नजर सरकार के फैसले पर टिकी हुई है। यदि जो कयास लगाये जा रहे है यदि वो सही साबित हुआ तो इससे बड़ा दशहरा का गिफ्ट नियोजित शिक्षकों के लिए कुछ नहीं हो सकता। अब देखने वाली बात होगी कि सरकार कब तक कैबिनेट में इस पर मुहर लगाती है।