बिहार में दुर्गा पूजा को लेकर गाइडलाइन जारी: कोरोना टीका का सर्टिफिकेट लेकर मेला घूमने जायेंगे लोग, नीतीश सरकार ने तय किया ये नया नियम-कानून

बिहार में दुर्गा पूजा को लेकर गाइडलाइन जारी: कोरोना टीका का सर्टिफिकेट लेकर मेला घूमने जायेंगे लोग, नीतीश सरकार ने तय किया ये नया नियम-कानून

PATNA : बिहार में कल 25 सितंबर को अनलॉक-6 की मियाद पूरी हो रही है. परसो 26 सितंबर से बिहार सरकार ने अनलॉक के 7वें फेज का एलान कर दिया है. अनलॉक-7 के नियम-कानून को लेकर सरकार ने नई गाइडलाइन जारी कर दी है. इसबार विशेषकर दुर्गा पूजा और अन्य पर्व त्यौहार को लेकर सरकार ने ध्यान केंद्रित किया है. नीतीश सरकार की नई गाइडलाइन के मुताबिक इसबार लोगों को दुर्गा पूजा में कोरोना के टीकाकरण संबंधित सर्टिफिकेट लेकर मेला घूमने जाना होगा.


शुक्रवार को बिहार सरकार ने कोरोना से निपटने को लेकर अनलॉक-7 का एलान किया और इसकी गाइडलाइन जारी की. इस नई गाइडलाइन में दुर्गा पूजा और मेला को लेकर साफ़-साफ़ यह लिखा गया है कि किस स्थिति में जिले के डीएम दुर्गा पूजा में पंडालों और मेला की अनुमति देंगे. सीएम नीतीश ने साफ निर्देश दिया है कि जो लोग कोरोना प्रभावित राज्यों से बिहार में आएंगे उनके लिए कोविड जांच जरूरी है. मतलब साफ है कि बिहार में जो लोग दुर्गा पूजा, दिवाली और छठ के मौके पर आएंगे वह कोविड जांच जरूर कराएंगे.


बिहार के मुख्य सचिव त्रिपुरारी शरण ने भी जिलाधिकारियों को निर्देश दिया है कि दुर्गापूजा के बाद दीपावली एवं छठ में काफी भीड़ रहती है इसलिए इन त्योहारों पर एहतियात बरतने और भीड़-भाड़ को नियंत्रित करने के उपायों का प्रयोग करने के लिए कहा है. बिहार के मुख्यमंत्री ने खुद ट्वीट कर लिखा कि "आगामी त्योहारों के दौरान जुलूस और भीड़ प्रबंधन हेतु जिला प्रशासन आदेश निर्गत करेंगे. कोरोना संक्रमण के ज्यादा मामले वाले राज्यों से आनेवाले यात्रियों की अनिवार्य कोविड जाँच कराई जाएगी."


त्योहारों के दौरान जुलूस और भीड़ प्रबंधन को लेकर जिले के डीएम क्या करेंगे और उनके लिए क्या मापदंड तय किया गया है. अब हम इसकी जानकारी आपको विस्तार से देते हैं. बिहार सरकार के गृह विभाग के विशेष शाखा की ओर से जारी नए आदेश के मुताबिक - 


1. त्योहारों के दौरान बिहार के बाहर से आने वाले यात्रियों की बड़ी संख्या को देखते हुए और उसके कारण कोरोना के संभावित प्रसार को रोकने के लिए भीड़ प्रबन्धन और जुलूस पर प्रभावी नियंत्रण के लिए जिला प्रशासन द्वारा स्थानीय स्तर पर आदेश निर्गत किया जाएगा.


2. जिला प्रशासन की ओर से दुर्गापूजा के अवसर पर बनने वाले पंडालों या स्थानीय मेला का परमिशन देने के लिए जिला प्रशासन को दो विशेष चीजों पर जरूर ध्यान देना होगा -


(क) संबंधित पंडाल या मेला प्रबंधक और कार्यकर्ताओं ने कोरोना के ताका की कम से कम एक डोज ली हो 


(ख) पंडाल या मेला लगाने के लिए स्वीकृत किए जाने वाले स्थान की घेराबंदी की जाये. और प्रवेश द्वार पर आगंतुकों के टीकाकरण संबंधित प्रमाणपत्र की जांच की व्यवस्था की जाए.


यानी कि पूजा पंडालों के प्रबंधन और कमिटी के लोगों को कम से कम कोरोना के टीका क एक डोज लेनी जरूरी है और जो लोग मेला या पंडाल घूमने आएंगे, उनके भी कोरोना टीकाकरण के सर्टिफिकेट की जांच पंडाल के द्वार पर ही की जाएगी. सरकार ने अपने आदेश में यह स्पष्ट किया है.


3. स्वास्थ्य विभाग द्वारा महत्वपूर्ण पूजा पण्डालों और मेलों के स्थल पर कोविड टेस्टिंग और टीकाकरण के लिए विशेष कैम्प की व्यवस्था की जाएगी. स्वास्थ्य विभाग द्वारा इस अवधि में कोविड संक्रमण की स्थिति पर विशेष निगरानी रखी जाएगी और कोविड जांच की संख्या में निर्धारित मानकों के अनुरूप वृद्धि सुनिश्चित की जाएगी. साथ ही पहले के आदेश के आलोक में वैसे राज्यों, जहाँ अभी भी कोरोना संक्रमण के ज्यादा मामले आ रहे हैं. डेल्टा प्लस वैरिएण्ट के मामले सामने आ रहे हैं. प्लेन, रेल, ट्रकों और अन्य वाहनों के माध्यम से राज्य में प्रवेश करने वाले यात्रियों की अनिवार्य रूप से राज्य की सीमाओं रेलवे स्टेशनों और हवाई अड्डों पर रैपिड एण्टीजन टेस्ट के माध्यम से जाँच कराई जाएगी. जिनके पास पिछले 72 घंटे का RTPCR निगेटिव जाँच रिपोर्ट उपलब्ध होगा, उनको जांच कराने की जरूरत नहीं होगी.


सीएम नीतीश ने क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप बैठक के बाद यह फैसला लिया है. उन्होंने कोरोना की स्थिति की समीक्षा के बाद यह फैसला लिया है कि इसबार बिहार के सभी आंगनबाड़ी केंद्र और छोटे बच्चों के स्कूलों को खोला जायेगा. मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर लिखा कि "कोरोना महामारी संबंधी प्रतिबंधों के सकारात्मक परिणाम आए हैं. शुक्रवार को स्थिति की समीक्षा कर 15 नवंबर, 2021 तक सभी आंगनवाड़ी केंद्र और छोटे बच्चों के विद्यालय को खोलने का निर्णय लिया गया है."


गौरतलब हो कि 6 में बिहार सरकार ने काफी छूट दी गई थी. स्‍कूलों में बच्‍चों के आने की अनुमति दे दी गई थी. लेकिन इसबार सरकार ने आंगनबाड़ी और छोटे बच्चों को स्कूलों को भी खोलने का आदेश दे दिया है. आपको याद हो कि बिहार सरकार ने पिछली बार सार्वजनिक कार्यक्रमों के आयोजन पर से भी प्रतिबंध हटा लिया था. इसबार भी सरकार ने कहा है कि पूर्व के शेष निर्णय जारी रहेंगे. यानी कि उसमें सरकार ने कोई बदलाव नहीं किया है.


आपको बता दें कि बीते दिन गुरुवार को मुख्य सचिव त्रिपुरारी शरण ने सभी जिलाधिकारियों से फीडबैक लिया और शुक्रवार को आपदा प्रबंधन समूह की बैठक की. मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों से उनके क्षेत्र में कोरोना संक्रमण की स्थिति, टीकाकरण के प्रगति के साथ बाजार, माल, दुकानों में भीड़भाड़ को नियंत्रित किए जाने को लेकर किए गए उपायों पर विस्तृत चर्चा की. जिलों की ओर से मुख्य सचिव को जानकारी दी गई कि राज्य में कोरोना संक्रमण काफी नियंत्रण में है. इक्का-दुक्का नए मामलों को छोड़ अमूमन सभी जिलों ने ऐसी ही जानकारी दी.


राज्य के सीनियर अधिकारियों के साथ बैठक में रेाना के टीकाकरण को लेकर बताया गया कि लक्ष्य के अनुरूप जिलों को पर्याप्त वैक्सीन के डोज दिए जा रहे हैं और केंद्रों पर बड़ी संख्या में लोग टीकाकरण को आ भी रहे हैं. मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों को आने वाले दिनों में पूजा पर्व को देखते हुए विशेष एहतियात बरतने और भीड़भाड़ को नियंत्रित करने के उपाय करने का निर्देश दियाहै. उन्‍होंने कहा कि दुर्गापूजा के बाद दीपावली और छठ में काफी भीड़ की स्‍थि‍ति होती है. ऐसे में सावधान रहना होगा.