पहले से और ज्यादा खतरनाक साबित हो रहा ब्लैक फंगस, 18 नए मरीज मिले.. 2 को हुई मौत

पहले से और ज्यादा खतरनाक साबित हो रहा ब्लैक फंगस, 18 नए मरीज मिले.. 2 को हुई मौत

PATNA : बिहार में ब्लैक फंगस पहले से और ज्यादा खतरनाक स्वरूप अख्तियार करते जा रहा है। शुक्रवार को पटना के सरकारी अस्पतालों में ब्लैक फंगस के 18 नए मरीज मिले हैं जबकि 2 मरीजों की मौत हुई है। जिन 2 मरीजों की मौत ब्लैक संघर्ष की वजह से हुई उनका इलाज पटना के आईजीआईएमएस में चल रहा था। हालांकि आईजीआईएमएस में सबसे ज्यादा मरीजों का ऑपरेशन भी किया गया है। पटना एम्स में शुक्रवार को 9 मरीजों का ऑपरेशन किया गया। 


शुक्रवार को पटना के पीएमसीएच में 2 नए मरीज भर्ती किए गए जबकि आईजीआईएमएस में 3 नए मरीजों को एडमिट लिया गया। पटना एम्स में ब्लैक फंगस के 12 नए मरीज भर्ती किए गए हैं जबकि एनएमसीएच में एक मरीज को एडमिट किया गया। पटना एम्स में 9 मरीजों का ऑपरेशन किया गया है। नोडल ऑफिसर डॉ संजीव कुमार के मुताबिक ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या जुलाई के मध्य तक कम होने की संभावना है। जैसे-जैसे कोरोना संक्रमण के मामले घट रहे हैं वैसे-वैसे ब्लैक फंगस के मामले भी कम होंगे। ब्लैक फंगस के मरीजों के इलाज के लिए पीएमसीएच में इंडोस्कोपी मशीन की खरीद करने का फैसला किया गया है। अस्पताल प्रबंधन ने मरीजों के इलाज और ऑपरेशन के लिए इंडोस्कोपी मशीन खरीदने की तैयारी की है। पीएमसीएच के ईएनटटी विभाग में इंडोस्कोपी मशीन नहीं होने से ब्लैक फंगस के मरीजों का ऑपरेशन नहीं हो पा रहा है। माना जा रहा है कि हफ्ते से 10 दिन के अंदर ईएनटी विभाग के पास इंडोस्कोपी मशीन पहुंच जाएगी। 


उधर पटना के आईजीआईएमएस में ब्लैक संघर्ष के मरीजों के ऑपरेशन का सिलसिला लगातार जारी है। ब्लैक फंगस के 100 मरीजों का ऑपरेशन अब तक आईजीआईएमएस में किया जा चुका है। पिछले 20 दिनों में इन मरीजों का ऑपरेशन किया गया है। आईजीआईएमएस में पिछले 20 दिनों के अंदर 174 मरीज एडमिट हुए हैं जिनमें से 100 का ऑपरेशन करना पड़ा है। आपको बता दें कि पटना के आईजीआईएमएस के अलावे एम्स, पीएमसीएच, एनएनसीएच के साथ-साथ कुछ प्राइवेट अस्पतालों में भी ब्लैक फंगस के मरीजों का इलाज हो रहा है। आईजीआईएमएस में 18 मई से ब्लैक फंगस का ट्रीटमेंट शुरू किया गया था और इसे सेंटर फॉर एक्सीलेंस घोषित किया।