Ameesha Patel: 50 वर्षीय अमीषा पटेल अब तक क्यों हैं कुंवारी? शादी न होने के पीछे है यह विशेष कारण बेतिया में सड़क हादसे में रिटायर्ड फौजी की मौत, गुस्साए परिजनों ने पुलिस से की मारपीट Bihar News: एक करोड़ मीटर कपड़े का पोशाक बनाएंगी जीविका दीदियां, नीतीश सरकार ने बनाया बड़ा प्लान Bihar News: एक करोड़ मीटर कपड़े का पोशाक बनाएंगी जीविका दीदियां, नीतीश सरकार ने बनाया बड़ा प्लान AI Enabled Negev LMG: शत्रुओं को खुद पहचान कर ख़त्म करेगी भारतीय सेना की यह मशीन गन, 14,000 फीट पर हुआ सफल परीक्षण BSNL Special Offer: ऑपरेशन सिंदूर के सम्मान में BSNL लेकर आया खास ऑफर, कैशबैक के साथ सेना को होगा योगदान BSNL Special Offer: ऑपरेशन सिंदूर के सम्मान में BSNL लेकर आया खास ऑफर, कैशबैक के साथ सेना को होगा योगदान Sonam Gupta: सोनम गुप्ता बेवफा है.. सोशल मीडिया पर कई साल बाद फिर से क्यों ट्रेंड होने लगा यह नाम? Sonam Gupta: सोनम गुप्ता बेवफा है.. सोशल मीडिया पर कई साल बाद फिर से क्यों ट्रेंड होने लगा यह नाम? Bihar News: महिला CO ने किया खेल...DM ने पकड़ लिया, अब राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने दे दिया यह दंड...
1st Bihar Published by: Updated Fri, 07 Aug 2020 01:19:40 PM IST
- फ़ोटो
DESK : डिजिटल पेमेंट या ट्रांजैक्शन को बढ़ावा देने के लिए सरकार तमाम तरह के बदलाव ला रही है. इस प्रक्रिया को सरल भी बनाने की पूरी कोशिश हो रही है ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इसे अपना सकें. कैशलेस ट्रांजैक्शन को बढ़ावा देने के लिए रिजर्व बैंक ने बिना इंटरनेट के कार्ड या मोबाइल के जरिये छोटी राशि के भुगतान की अनुमति दे दी है.
इस सुविधा के तहत एक बार में 200 रुपय तक की राशी को ‘ऑफलाइन’ होने के बावजूद ट्रांसफर किया जा सकता है. शुरूआती दिनों के लिए ये राशी बेहद कम रखी गई है लेकिन बाद में इसे बढाया जा सकता है.
अकसर देखा गया है कि इंटरनेट कनेक्शन नहीं होने की वजह से डिजिटल पेमेंट या ट्रांजैक्शन में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. खासकर दूरदराज के क्षेत्रों में इंटरनेट का अभाव या उसकी कम स्पीड डिजिटल भुगतान में बाधा उत्पन करती हैं. इसको देखते हुए रिजर्व बैंक कार्ड, वॉलेट और मोबाइल उपकरणों के माध्यम से ऑफलाइन भुगतान का विकल्प उपलब्ध कराने वाली है. उम्मीद है कि इससे डिजिटल भुगतान को और बढ़ावा मिलेगा.
इस माध्यम से भुकतान करने के लिए किसी अन्य प्रकार के वेरिफिकेशन की जरूरत नहीं होगी. फिलहाल, इस पायलट योजना को 31 मार्च, 2021 तक चलाने की योजना है. इसमें सफल होने के बाद आरबीआई औपचारिक व्यवस्था स्थापित करने के बारे में निर्णय लेगी.