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Bihar vidhanmandal: विधानसभा और विधान परिषद में क्या अंतर ? जानिए डिटेल्स

Bihar vidhanmandal:बिहार की राजनीति में विधानसभा और विधान परिषद दोनों की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। विधानसभा के सदस्य जनता द्वारा सीधे चुने जाते हैं, जबकि विधान परिषद के सदस्य अप्रत्यक्ष रूप से चुने जाते हैं।

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23-Mar-2025 02:18 PM

Bihar vidhanmandal: विधानसभा राज्य की सबसे प्रमुख विधायी संस्था है, जिसका कार्यकाल पांच वर्षों का होता है। इसका नेतृत्व स्पीकर करते हैं। विधानसभा में चुने जाने के लिए न्यूनतम आयु 25 वर्ष होनी चाहिए। इसमें विधेयक पारित करने और सरकार के कार्यों की निगरानी करने की जिम्मेदारी होती है।


वहीँ ,विधान परिषद राज्य का उच्च सदन होता है, जो विधानमंडल का हिस्सा होता है। इसका कार्यकाल छह वर्षों का होता है, और हर दो वर्ष में एक तिहाई सदस्य सेवानिवृत्त होते हैं। विधान परिषद का नेतृत्व सभापति करते हैं। इसमें सदस्य विभिन्न स्रोतों से चुने जाते हैं, जैसे स्थानीय निकाय, स्नातक निर्वाचन क्षेत्र, शिक्षक निर्वाचन क्षेत्र और राज्यपाल द्वारा मनोनीत। विधान परिषद का कार्य विधेयकों की समीक्षा करना और सरकार को सुझाव देना होता है।


भारत में केवल छह राज्यों में विधान परिषद मौजूद है – बिहार, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना। बिहार में विधानसभा और विधान परिषद दोनों की भूमिका महत्वपूर्ण होती है। विधानसभा में जनता की सीधी भागीदारी होती है, जबकि विधान परिषद का उपयोग नीति-निर्माण और राजनीतिक नियुक्तियों में किया जाता है।