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14-Jan-2022 10:54 AM
PATNA: बिहार में बेकाबू हो रही कोरोना की तीसरी लहर में लगातार मरीजों की संख्या बढ़ रही है. प्रदेश में हर एक दिन बड़ी तादाद में नए कोरोना मरीजों की पहचान हो रही है. जिस प्रकार से कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़ रही है वह चिंताजनक हैं. इस क्रम में बिहार में 103 निजी अस्पतालों को कोरोना संक्रमित मरीजों के इलाज की मंजूरी दी गयी है.
हालांकि अब भी राज्य के कुछ जिलों में सौ से अधिक आवेदन स्वीकृति के लिए लंबित हैं. इनमें सर्वाधिक पटना के ही विभिन्न निजी अस्पतालों द्वारा दिए गए आवेदन हैं. स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोरोना के दूसरे चरण में संक्रमण की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए पहली बार निजी अस्पतालों को भी मंजूरी दी गयी थी. आईएमए, बिहार की ओर से भी सभी जिलों के लंबित आवेदनों का निबटारा करते हुए तत्काल मंजूरी दिए जाने की मांग की गयी है. दो दिन पूर्व पटना जिला प्रशासन के साथ हुई बैठक कोरोना में भी इस मांग को रखा गया था.
आईएमए, बिहार के सचिव डॉ. सुनील ने कहा कि कोई मरीज श्वास रोग, हृदय रोग या अन्य परेशानियों को लेकर निजी अस्पताल में इलाज के लिए आता है और इलाज शुरू होने के बाद जांच के दौरान कोरोना संक्रमित पाया जाता है, तो फिर उसे रेफर करने में थोड़ी परेशानी होती है। परिजन भी चाहते हैं कि उनका वहीं इलाज हो. राज्य को कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए लंबित आवेदनों पर त्वरित निर्णय लेना चाहिए.