ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar Election 2025: कांग्रेस उम्मीदवार ऋषि मिश्रा समेत 20 लोगों के खिलाफ केस दर्ज, इस मामले में हुआ एक्शन Bihar Election 2025: कांग्रेस उम्मीदवार ऋषि मिश्रा समेत 20 लोगों के खिलाफ केस दर्ज, इस मामले में हुआ एक्शन ‘2% वाला डिप्टी सीएम, 13% वाला सीएम, 18% वाला दरी बिछावन मंत्री’ मुकेश सहनी को डिप्टी सीएम फेस घोषित करने पर भड़की ओवैसी का पार्टी ‘2% वाला डिप्टी सीएम, 13% वाला सीएम, 18% वाला दरी बिछावन मंत्री’ मुकेश सहनी को डिप्टी सीएम फेस घोषित करने पर भड़की ओवैसी का पार्टी Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर जिला प्रशासन सख्त, गयाजी में 17 अपराधी थाना बदर; 114 को मिला CCA नोटिस Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर जिला प्रशासन सख्त, गयाजी में 17 अपराधी थाना बदर; 114 को मिला CCA नोटिस Bihar News: बिहार के इस स्टेशन पर रेलवे की बड़ी पहल, छठ पर्व पर यात्रियों को मिल रही विशेष सुविधा Bihar Election 2025: जेपी नड्डा का लालू यादव पर बड़ा हमला, चुनावी सभा में शहाबुद्दीन और जंगलराज का भी किया जिक्र Bihar Election 2025: जेपी नड्डा का लालू यादव पर बड़ा हमला, चुनावी सभा में शहाबुद्दीन और जंगलराज का भी किया जिक्र Bhojpur News: समाजसेवी अजय कुमार सिंह ने बहनों संग मनाया भाई दूज का पावन पर्व, सभी का जताया आभार

पुलिसिया तंत्र से मानवाधिकारों के खतरे पर CJI चिंतित, बोले.. हिरासत में यातना जारी है

पुलिसिया तंत्र से मानवाधिकारों के खतरे पर CJI चिंतित, बोले.. हिरासत में यातना जारी है

08-Aug-2021 09:35 PM

DESK : देश में पुलिसिया तंत्र को लेकर सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस एन वी रमन खासे चिंतित हैं। पुलिस की कार्यशैली को लेकर चीफ जस्टिस ने तल्ख टिप्पणी की है। सीजेआई एन वी रमन ने कहा है कि हिरासत में यातना और अन्य तरह के पुलिसिया अत्याचार देश में अभी भी जारी हैं। यहां तक कि विशेषाधिकार प्राप्त लोगों को भी थर्ड डिग्री टॉर्चर से नहीं बचाया जाता। सीजेआई ने इस स्थिति पर चिंता जताई है।


इस मामले में सीबीआई ने राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण को देश में पुलिस अधिकारियों को संवेदनशील बनाने के लिए कहा है। नई दिल्ली के विज्ञान भवन में कानूनी सेवा मोबाइल एप्लीकेशन और नालसा के दृष्टिकोण को लेकर मिशन स्टेटमेंट की शुरुआत के अवसर पर सीजेआई एन वी रमन ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि यदि एक संस्था के रूप में न्यायपालिका नागरिकों का विश्वास हासिल करना चाहती है तो हमें सभी को आश्वस्त करना होगा कि हम उनके लिए हमेशा मौजूद हैं। सीबीआई ने कहा कि यह सच्चाई है कि लंबे अरसे तक के कमजोर आबादी नए प्रणाली से बाहर रही है।


आपको बता दें कि नालसा का गठन विधिक सेवा प्राधिकरण कानून 1987 के तहत कमजोर वर्ग के लोगों को मुफ्त कानूनी सेवा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से किया गया था। सीजेआई ने कहा कि मानवाधिकारों और शारीरिक चोट नुकसान का खतरा पुलिस थानों में सबसे ज्यादा है। पुलिस हिरासत में यातना एक ऐसी समस्या है जो अभी भी समाज के लिए बुरा पक्ष है। संवैधानिक घोषणाओं के बावजूद अब तक हम पुलिस थानों में यातना पर नियंत्रण नहीं लगा पाए हैं। सीजेआई ने कहा कि विशेषाधिकार हासिल करने वाले लोगों को भी पुलिस यातना से नहीं बचाया जा सका है। कई मामलों में देखा गया है कि विशेषाधिकार हासिल लोग भी थर्ड डिग्री वाली प्रताड़ना झेलते हैं।