BIHAR: नौकरी और सरकारी योजनाओं के नाम पर ठगी, खगड़िया में साइबर ठग गिरफ्तार छपरा में एनडीए कार्यकर्ता सम्मेलन, सरकार की उपलब्धियां गिनाईं और विपक्ष पर किया जोरदार हमला BIHAR NEWS : मां के सोते ही BA की छात्रा ने उठाया खौफनाक कदम, अब पुलिस कर रही जांच BIHAR CRIME : नशे में धुत बेटे ने पिता पर किया हमला, चाकू छीनकर पिता ने कर दी बेटे की हत्या BIHAR STET EXAM : जानिए बिहार STET एग्जाम का पैटर्न, 5 घंटे में पूछे जाएंगे 300 सवाल; गलत जवाब पर भी नहीं कटेंगे जवाब Asia Cup 2025: सूर्या की कप्तानी में आज दिखेगा भारत का दम-खम, इस एप पर देखें इंडिया और UAE का लाइव मुकाबला Bihar Government Scheme: सावधान ! महिला रोजगार योजना के नाम पर हो रहा बड़ा खेल, आपको भी आ रहा ऐसा लिंक तो ठहर जाए Bihar Train News: बिहार के स्टेशनों को मिली बड़ी राहत, रेलवे ने कई प्रमुख ट्रेनों के ठहराव को दी मंजूरी टी सी एच एदुसर्व 16 सितम्बर से नया बैच शुरू, 100% फीस माफी की सुविधा Bihar News: फ्री फायर गेम खेल रहा किशोर को अपराधियों ने मारी गोली, पुलिस कर रही छापेमारी
13-Jul-2025 08:02 AM
By First Bihar
Nitin Gadkari: केंद्रीय परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने शनिवार को नागपुर में आयोजित एक सम्मेलन में प्राचार्यों और शिक्षकों को संबोधित करते हुए सत्ता और अहंकार के खतरनाक प्रभाव पर गंभीर टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि सत्ता, धन, ज्ञान और सुंदरता प्राप्त करने वाले लोग अक्सर अहंकारी हो जाते हैं, जो सच्चे नेतृत्व की सबसे बड़ी बाधा होती है।
गडकरी ने कहा, जब लोग यह मानने लगते हैं कि वे सबसे बुद्धिमान हैं, तो उनकी दृढ़ता दूसरों पर प्रभुत्व में बदल जाती है। लेकिन कोई भी खुद को थोपकर महान नहीं बन सकता। इतिहास में देखें, जिन्हें जनता ने स्वीकार किया है, उन्हें कभी खुद को थोपना नहीं पड़ा। उन्होंने नेताओं में फैले अहंकार पर व्यंग्य करते हुए कहा, मैं सबसे बुद्धिमान हूं। मैं साहब बन गया हूं… मैं दूसरों की गिनती भी नहीं करता।
यह अहंकार सच्चे नेतृत्व को कमजोर करता है और संस्थाओं की ताकत मानव संबंधों में निहित होती है। गडकरी ने सही नेतृत्व की परिभाषा देते हुए कहा कि सम्मान मांगने से नहीं मिलता, बल्कि कर्मों से अर्जित होता है। उन्होंने कहा, आप अपने अधीनस्थों से कैसे व्यवहार करते हैं, यही असली नेतृत्व है।
उनकी इस टिप्पणी को विपक्ष ने भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के प्रति एक परोक्ष आलोचना के रूप में देखा। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व महाराष्ट्र मंत्री नितिन राऊत ने कहा,गडकरी जी का बयान भाजपा में फैले अहंकार और आत्मकेंद्रित रवैये पर सीधा प्रहार है।
गडकरी ने शिक्षा विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार पर भी तीखा प्रहार किया। उन्होंने कहा, यह जानकर बहुत दुख हुआ कि शिक्षक नियुक्तियों में भी घूस ली जाती है, जो बेहद शर्मनाक है। उन्होंने व्यंग्य करते हुए पूछा, "इतनी भ्रष्ट व्यवस्था में सड़कें कैसे बनती हैं?"
गडकरी ने कहा कि कुछ लोग चुनौतियों को अवसर में बदल देते हैं, जबकि कुछ लोग अवसरों को नष्ट कर देते हैं। उन्होंने सरकारी अधिकारियों की जिम्मेदारी की कमी पर भी कटाक्ष किया। उन्होंने कहा, जब आपको नौकरी मिली है तो कुछ करके दिखाइए। क्या आप गधे को घोड़ा बना सकते हैं? अगर आप सुधार नहीं कर सकते तो आपको बुलाना ही क्यों?
अपने संबोधन के अंत में गडकरी ने शिक्षा के महत्व को रेखांकित किया और कहा, "आज जो आप सिखाते हैं, वही कल भारत का भविष्य बनाएगा।" उन्होंने प्रधानाचार्यों से अपील की कि वे टीमवर्क के जरिए शिक्षकों और विद्यार्थियों के विकास पर ध्यान दें, ताकि शिक्षा का स्तर बेहतर हो सके और देश को सशक्त बनाने में योगदान मिल सके।
नितिन गडकरी के ये बयान राजनीतिक और शैक्षणिक दोनों ही क्षेत्रों में महत्वपूर्ण माने जा रहे हैं। उन्होंने अहंकार, भ्रष्टाचार और नेतृत्व की कमजोरियों पर प्रकाश डालकर स्पष्ट किया कि केवल सकारात्मक नेतृत्व और ईमानदार प्रशासन ही देश के विकास का मार्ग प्रशस्त कर सकता है। विपक्ष ने भी इस बयान को भाजपा के आंतरिक मुद्दों की तरफ संकेत माना है, जिससे आगामी राजनीतिक हलकों में इस पर चर्चा बढ़ने की संभावना है।