PATNA : बिहार पुलिस की आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) ने सौ से अधिक ऐसे ऐप चिह्नित किए गए हैं। जिनके मोबाइल ऐप के जरिए कर्ज देने और जुआ खेलाने के नाम पर लोगों को ठगने और जबरन वसूली करने का काम किया जा रहा था। लेकिन, अब इन ऐप को प्रतिबंधित किए जाएंगे। इन पर प्रतिबंध लगाने के लिए केंद्रीय इलेक्ट्रानिक व सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय से अनुशंसा की गई है।
दरअसल, ईओयू अधिकारियों के अनुसार कई जिलों से ऐसे जुआ व गेम खिलाने और कर्ज देने वाले ऐप की शिकायतें मिली हैं। जिसमें पटना, औरंगाबाद, जमुई जैसे जिलों में ऐसे ऐप और इनसे जुड़े लोगों पर प्राथमिकी भी दर्ज की गई है। इसमें कहा गया है कि यह ऐप पैसे उधार देकर काफी अधिक ब्याज पर राशि की वसूली करते हैं। पैसे न देने पर धमकी भी दी जाती है। यह आईटी एक्ट के उल्लंघन के साथ आपराधिक कृत्य भी है। इसके अलावा ऐसे ऐप देश की वित्तीय सुरक्षा के लिए भी खतरा पैदा करते हैं।
बताया जा रहा है कि, ऐप के माध्यम से आने वाली राशि का इस्तेमाल मनी लांड्रिंग आदि में किया जाता है । ईओयू की जांच में ये बातें भी आई है कि साइबर ठग ऐप से ऋण देने के बहाने ग्राहकों से जुड़ी सारी जानकारी पा लेते हैं। इसके अलावा कई बार फोन भी हैक कर साइबर अपराध को अंजाम देते हैं।इन जानकारियों का इस्तेमाल आरोपी कई तरह के वित्तीय अपराधों को अंजाम देने के कर सकते हैं।