Bihar politics : विधानसभा चुनाव से पहले RCP सिंह बढ़ाएंगे नीतीश और मोदी की टेंशन, जल्द लॉन्च करेंगे खुद की पार्टी

Bihar politics : विधानसभा चुनाव से पहले RCP सिंह बढ़ाएंगे नीतीश और मोदी की टेंशन, जल्द लॉन्च करेंगे खुद की पार्टी

PATNA : बिहार में अगले साल विधानसभा का चुनाव होना है। ऐसे में तमाम राजनेता अब अपनी अंतिम तैयारियों को अब रंग देने में जूट गए हैं। इस बीच भाजपा के नेता और पूर्व केंदीय मंत्री सह पूर्व राज्यसभा सांसद आरसीपी सिंह ने बड़ा एलान किया है। उन्होंने विधानसभा चुनाव से पहले एनडीए के लिए थोड़ी टेंशन बढ़ा दी है। इस राजनेता ने यह तय किया है कि वह खुद की नई राजनीतिक पार्टी लॉन्च करेंगे। 


दरअसल, राजधानी पटना में आज एक पोस्टर लगाया गया जिसमें लिखा गया कि टाइगर इस बैक, इसके अलावा और भी एक लाइन लिखी गई और इसमें आरसीपी सिंह की तस्वीर लगी हुई थी। उसके बाद इन मुद्दों को लेकर जब फर्स्ट बिहार ने आरसीपी सिंह से संपर्क किया तो उन्होंने बातचीत करते हुए कहा कि अब हम अपनी खुद की पार्टी तैयार कर रहे हैं और इस पार्टी के कैंडिडेट इस बार विधानसभा चुनाव में उतरेंगे। 


आरसीपी सिंह ने फर्स्ट बिहार से बातचीत करते हुए कहा कि वह बहुत ही जल्द भाजपा छोड़ बिहार में नई पार्टी बनाएंगे। उन्होंने कहा कि मैं संगठन में काफी दिनों तक काम किया हूं और पार्टी चलाने का अनुभव भी हमारे पास हैं। इसलिए हमारे साथ रहने वाले समर्थकों ने यह सलाह दी है कि मैं नई पार्टी तैयार करूँ तो हमने यह निर्णय लिया है कि हमलोग इस विधानसभा चुनाव में खुद की पार्टी तैयार कर चुनाव मैदान में होंगे। 


मालूम हो की आरसीपी सिंह ने अपने राजनीतिक कैरियर की शुरुआत जदयू के की थी लेकिन उन्होंने 5 अगस्त 2022 में जेडीयू से इस्तीफा दिया था। जेडीयू छोड़ने के ठीक 9 महीने बाद 11 मई 2023 को दिल्ली में उन्होंने बीजेपी की सदस्यता ली। बीजेपी के सीनियर नेता धर्मेंद्र प्रधान ने उन्हें पार्टी में शामिल कराया था। लेकिन पार्टी में उचित स्थान नहीं मिलने से वे काफी समय से नाराज चल रहे थे। इसके बाद अब उन्होंने यह निर्णय लिया है। 


बता दें कि रामचंद्र प्रसाद सिंह यानी RCP सिंह 1984 बैच के IAS अधिकारी रह चुके हैं। नीतीश कुमार के स्वजातीय हैं और उनके गृह जिले नालंदा के ही निवासी है।  RCP सिंह उत्तर प्रदेश कैडर के IAS अधिकारी थे. नीतीश जब केंद्र में मंत्री बने तब उन्हें उत्तर प्रदेश से लाकर अपना सचिव बनाया गया। उसके बाद जब बिहार के मुख्यमंत्री की कुर्सी संभाली तो फिर से उन्हें उत्तर प्रदेश बुलाकर अपना प्रधान सचिव बनाया फिर नीतीश कुमार ने जदयू का सुप्रीमो भी RCP को बनाया था, लेकिन बाद में दोनों में दूरियां बढ़ गईं। 


पटना से सदन सिंह की रिपोर्ट