Gopal Khemka Murder Case: खुल गया गोपाल खेमका हत्याकांड का राज, शूटर और मास्टरमाइंड गिरफ्तार; लालू यादव के CA से क्या कनेक्शन? Bihar News: अब नहीं चलेगी स्कूल, शिक्षक और कॉलेज की मनमानी, शिक्षा विभाग ने जारी किया टोल फ्री नंबर; शिकायत मिलते ही होगा कड़ा एक्शन Bihar Crime News: 10 करोड़ लूट मामले में 13 गिरफ्तार, 3 किलो सोना के साथ 2 पिस्टल भी बरामद Bihar Weather: बिहार में फिर परेशान करेगी गर्मी, मानसून के ड्राई स्पेल की शुरुआत; पारा जाएगा 40℃ के ऊपर Bihar News: अब डॉक्टर का भी फर्ज निभाएंगे बिहार के मास्टर साहब, छात्रों के स्वास्थ्य का जिम्मा शिक्षकों के ऊपर मुंगेर में शादी समारोह बना रणभूमि, वधू-वर पक्ष में जमकर मारपीट, पुलिस की पहल से हुई शादी पूर्व CMO के बंद कमरे से मिले 22 लाख कैश, सभी 1000 और 500 के पुराने नोट Bihar News: इन 9 बैंकों से वेतन की सुविधा ले सकेंगे बिहार के कर्मचारी, बीमा का भी मिलेगा लाभ; सरकार ने किया करार Bihar News: इन 9 बैंकों से वेतन की सुविधा ले सकेंगे बिहार के कर्मचारी, बीमा का भी मिलेगा लाभ; सरकार ने किया करार Bihar News: बिहार में कटहल का कोआ खाने से दो सगी बहनों की मौत, परिवार में मचा कोहराम
1st Bihar Published by: Updated Wed, 27 Oct 2021 07:39:29 PM IST
- फ़ोटो
PATNA: पटना हाईकोर्ट ने पटना के बिक्रम में मोडल हाईवे ट्रामा सेंटर शुरू करने को लेकर दायर एक जनहित याचिका पर सुनवाई की। चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने इस मामले पर सुनवाई करते हुए नोएडा स्थित हॉस्पिटल सर्विसेज कंसल्टेंसी कॉर्पोरेशन (इंडिया) लिमिटेड के प्रबंध निदेशक को नोटिस जारी किया है।
याचिकाकर्ता ने कोर्ट को बताया कि वर्ष 2002 में ही ट्रामा सेंटर बनकर तैयार हो गया था। इसमें जेनरल सर्जन, ऑर्थोपेडिक सर्जन, जनरल मेडिकल डॉक्टरों, रेडियोग्राफर, प्रशिक्षित लैब टेक्नीशियन व नर्सिंग स्टाफ समेत अन्य आवश्यक मेडिकल व पैरामेडिकल स्टाफ के पदों को भरने को लेकर आदेश देने का अनुरोध किया है।
याचिकाकर्ता का कहना था कि सड़क दुर्घटना में पीड़ित व्यक्ति को तत्काल मेडिकल राहत और उपचार की जरूरत होती है। तत्काल मेडिकल उपचार मुहैया नहीं किये जाने की वजह से लोगों की जान चली जाती है, जिसे रोका जा सकता है ।साथ ही इससे मृत्यु दर में कमी आयेगी। इतना ही नहीं मेडिकल सुविधा समय पर उपलब्ध नहीं दिए जाने की वजह से लोग विकलांगता के शिकार हो जाते हैं। ट्रामा सेंटर एक रेफ़रल अस्पताल के तौर पर भी काम करता है।
इस ट्रामा सेंटर का उद्घाटन 3 नवंबर, 2001 को तत्कालीन केंद्रीय मंत्री सीपी ठाकुर द्वारा किया गया था। इसी मुद्दे को लेकर एक जनहित याचिका पटना हाई कोर्ट में वर्ष 2004 में भी दायर की गई थी। इस मामले पर सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने पटना के सिविल सर्जन को डॉक्टरों की तैनाती व पोस्टिंग किये जाने को लेकर 9 अगस्त, 2004 को ही आदेश दिया था। इसके बावजूद फिलहाल ट्रामा सेंटर तो काम नहीं कर रहा है, लेकिन ट्रामा सेंटर के परिसर में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र चल रहा है।
याचिकाकर्ता के अधिवक्ता चंदन कुमार ने बताया कि इस ट्रामा सेंटर को चालू करने को लेकर याचिकाकर्ता ने 7 जून, 2020 को प्रधानमंत्री को एक पत्र भी लिखा है। ट्रामा सेंटर को बहाल करने को लेकर राज्य सभा के सांसद विवेक ठाकुर द्वारा राज्य सभा के सत्र में 23 मार्च , 2021 को प्रश्न भी उठाया गया।
याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका के जरिये यह आरोप लगाया है की राज्य सरकार की लापरवाही की वजह से इस ट्रामा सेंटर को शुरू नहीं किया जा सका है, जो भारत के संविधान के अनुच्छेद 21 का उल्लंघन है। इस मामले में कोर्ट को सहयोग करने के लिए कोर्ट ने अधिवक्ता पुरुषोत्तम कुमार दास को एमिकस क्यूरी नियुक्त किया है। इस मामले पर अगली सुनवाई 13 दिसंबर को होगी।