PATNA : बिहार में चल रही शिक्षक नियोजन प्रक्रिया को लेकर हर दिन अलग-अलग खबरें सामने आती रहती हैं। ताजा खबर प्रदेश के प्रारंभिक स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति प्रक्रिया से जुड़ी हुई है। 18 अप्रैल को अलग-अलग नियोजन इकाईयों में 1377 अभ्यर्थियों का चयन अंतिम रूप से किया गया था। इनमें से 932 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र भी दिया जा चुका है लेकिन शिक्षा विभाग ने अंतिम रूप से चयनित कुल 445 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र देने पर फिलहाल रोक लगा दी है।
दरअसल शिक्षा विभाग को यह आशंका है कि इन अभ्यर्थियों की तरफ से शिक्षक पात्रता परीक्षा पास किए जाने का फर्जी प्रमाण पत्र दिया गया है। इसकी डिटेल जांच कराई जा रही है। शिक्षा विभाग के मुताबिक 445 अभ्यर्थियों के टीईटी पास होने पर संदेह है, उनमें अकेले गोपालगंज जिले के 223 अभ्यर्थी शामिल हैं। आपको बता दें कि नियोजन के विशेष चक्र के तहत जिले में 573 अभ्यर्थियों का चयन हुआ। इनमें से 350 को ही नियुक्ति पत्र दिया गया है बाकी बचे 223 अभ्यर्थियों के टीईटी सर्टिफिकेट की जांच का काम चल रहा है।
इसके अलावा मोतिहारी और बेतिया में 80–80 अभ्यर्थी, मधुबनी में 38, नालंदा में 15, मुजफ्फरपुर और नवादा में 3–3, भोजपुर में 2, कटिहार सारण सीतामढ़ी में एक-एक अभ्यर्थी ऐसे हैं जिनके सर्टिफिकेट की जांच की जा रही है। उधर शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा है कि फर्जी डिग्री के आधार पर नौकरी पाने का प्रयास करने वाले अभ्यर्थियों के ऊपर प्राथमिकी दर्ज की जाएगी। ऐसे लोगों को किसी हाल में भी विभाग बर्दाश्त नहीं करेगा। विभाग को गुमराह करने का प्रयास जिन लोगों ने किया है उनपर प्राथमिकी दर्ज की जाएगी