PATNA : बिहार के अधिकतर विश्वविद्यालयों का सत्र काफी लेट - लतीफ़ चल रहा है। कहीं समय से परीक्षा नहीं लिया जा रहा है तो कहीं परीक्षा लेने के बाद रिजल्ट नहीं दिया जा रहा है। जिसके बाद अब इस मामले में पटना हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है। पटना हाई कोर्ट ने विश्वविद्यालयों को कड़ी चेतावनी देते हुए पांच विवि के कुलपति पर जुर्माना लगाया है।
दरअसल, समय पर परीक्षा नहीं लेने और परीक्षाफल प्रकाशित करने में देरी से नाराज पटना हाइकोर्ट ने मगध विवि, पाटलिपुत्र विवि, वीर कुंवर सिंह विवि,पूर्णिया विवि, और एलएनएमयू, के कुलपति पर पांच-पांच हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना मुख्य न्यायाधीश जस्टिस संजय करोल और जस्टिस पार्थ सारथी की खंडपीठ ने लगाया है। इसको लेकर इन सभी विश्वविद्यालयों को दो दिनों के अंदर जुर्माना राशि पटना हाई कोर्ट एडवोकेट क्लर्क वेलफेयर एसोसिएशन में जमा करने को कहा गया है।
इसके साथ ही पटना हाई कोर्ट ने वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय और मगध विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार को अगली सुनवाई पर तलब किया है। कोर्ट ने इन दोनों विवि के रजिस्ट्रार को 14 दिसंबर को हाजिर होने का आदेश दिया है। मुख्य न्यायाधीश जस्टिस संजय करोल और जस्टिस पार्थ सारथी की खंडपीठ ने विवेक राज की लोकहित याचिका पर सुनवाई में कहा है कि समय पर परीक्षा और रिजल्ट नहीं जारी किये जाने से स्टूडेंट के भविष्य पर असर पड़ता है। ऐसे में किसी भी सूरत में छात्रों का भविष्य खराब नहीं होना चाहिए। इस केस में राज्य के कई विश्वविद्यालयों की ओर से हलफनामा दायर कर अपने विश्वविद्यालय का स्थिति स्पष्ट किया गया।
कोर्ट ने इन सभी विश्वविद्यालयों को यह आदेश दिया है कि, एक सप्ताह के भीतर परीक्षा में होने वाली देरी तथा रिजल्ट प्रकाशित करने में हो रही देरी दोनों के बारे में पूरी जानकारी दें। इसके साथ ही तय समय के भीतर हलफनामा दायर नहीं किये जाने पर वीसी को पांच हजार रुपया पटना हाई कोर्ट एडवोकेट क्लर्क वेलफेयर एसोसिएशन में जमा करने का आदेश दिया।