PATNA: पटना में लगातार हो रही बारिश के बीच BJP सांसद रामकृपाल यादव जलजमाव का निरीक्षण करने पहुंचे। फुलवारी-एम्स रोड पर हो रहे भीषण जलजमाव की समस्या को देखने वे अधिकारियों के साथ पहुंचे। जहां लोगों को इस समस्या से निजात दिलाने का भरोसा जताया। वही जल निकासी के लिए छोटे पंप लगाने पर सांसद एजेंसी पर भड़क गये। उन्होंने कार्यपालक अभियंता को बड़े पंप लगाने का निर्देश देते हुए कहा कि छोटे पंप लगाकर सिर्फ खानापूर्ति ना करें।
पूर्व केन्द्रीय राज्य मंत्री और बीजेपी सांसद रामकृपाल यादव के निरीक्षण के दौरान पथ निर्माण विभाग के एनएच डिवीज़न के कार्यपालक अभियंता संजीव चौधरी, फुलवारीशरीफ नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी मनोज कुमार और नगर परिषद के चेयरमैन आफताब आलम भी साथ थे।
सांसद रामकृपाल यादव ने सरकारी या निजी निर्माण एजेंसियों द्वारा बंद किए गये विभिन्न वाटर बॉडीज औ कलवर्ट को अतिक्रमण मुक्त कराने की मांग सरकार से की है। उन्होंने बताया कि यदि ऐसा किया गया तब इलाके के लोगों को भीषण जलजाव से मुक्ति मिल जाएगी। लोगों की समस्या हमेशा के लिए खत्म हो जाएगी।
तत्काल राहत के लिए ऐजेंसी द्वारा जल निकासी के लिए छोटे पम्प लगाए जाने पर सांसद भड़क गए। निरीक्षण के दौरान साथ चल रहे कार्यपालक अभियंता को निर्देश दिया कि छोटे पंप लगा कर सिर्फ खानापूर्ति नहीं करें बल्कि बड़े पम्प लगाएं। इस दौरान रामकृपाल यादव ने रानीपुर के अल्वा कॉलोनी का भी दौरा किया। वहां के लोगों से मिलकर जलजमाव की स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान उनके साथ अभय सिंह, पूर्व प्रदेश कार्यसमिति सदस्य रणधीर यादव, मंडल अध्यक्ष रमेश यादव, वार्ड पार्षद देव पंडित, मो शाकिर हुसैन, अभिषेक चौधरी, मंजीत ठाकरे, सुमित कुमार और राम सेवक शर्मा भी साथ थे।
वही निरीक्षण के दौरान कार्यपालक अभियंता संजीव चौधरी ने बताया कि रोड के दोनों किनारे पर नाला का निर्माण किया गया है। जिसे सड़क के पानी को निकालने की क्षमता के अनुसार बनाया गया था। बसावटों की संख्या बढ़ती गयी और उसकी जल निकासी की व्यवस्था सड़क के किनारे बनी नालों में जुड़ती गई।
कार्यपालक अभियंता ने बताया कि अब स्थिती यह हो गयी कि नियत क्षमता से अधिक पानी नालों में जा रहा है जिससे भीषण जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो गयी है। पटना एम्स के सामने एक गड्ढा था जिसमे पानी जमा होता था और कलवर्ट से पानी पटना सोन मुख्य नहर में जाता था। विद्युत विभाग ने ट्रांसमिशन लाइन के लिए गड्ढे को भर दिया और सड़क निर्माण एजेंसी ने कलवर्ट को बंद कर दिया। जिसके कारण जल निकासी का मार्ग अवरुद्ध हो गया है।