पूर्व मंत्री मंजू वर्मा और उनके पति को हाईकोर्ट से बड़ी राहत, निचली अदालत में ट्रायल पर हाईकोर्ट की रोक

पूर्व मंत्री मंजू वर्मा और उनके पति को हाईकोर्ट से बड़ी राहत, निचली अदालत में ट्रायल पर हाईकोर्ट की रोक

PATNA : मुजफ्फरपुर शेल्टर होम मामले में इस्तीफा देने वाली बिहार की पूर्व मंत्री मंजू वर्मा और उनके पति चंद्रशेखर वर्मा को पटना हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है. पटना हाईकोर्ट ने दोनों के खिलाफ निचली अदालत में चल रहे मामले के ट्रायल पर रोक लगा दिया है. मंजू वर्मा और चंद्रशेखर वर्मा के खिलाफ आर्म्स एक्ट का मामला चल रहा है. हाईकोर्ट ने कहा है कि उसके फैसले के बाद ही ट्रायल की प्रक्रिया शुरू की जाये.


हाईकोर्ट में मंजू वर्मा की याचिका पर सुनवाई
दरअसल मुजफ्फरपुर शेल्टर होम मामले के बाद मंजू वर्मा के घर पर छापा पड़ा था. मामला 17 अगस्त 2018 का है, जब बेगूसराय में CBI की टीम ने मंजू वर्मा के घर पर  छापेमारी की थी. छापेमारी शेल्टर होम से संबंधित जानकारी के लिए की गयी थी लेकिन वहां से प्रतिबंधित 50 कारतूस बरामद हुए थे. सीबीआइ टीम ने इसकी सूचना बेगूसराय पुलिस को दी थी. जिसके बाद बेगूसराय के  चेरिया बरियारपुर थाने में  कांड दर्ज कराया था. इस मामले में मंजू वर्मा एवं उनके पति को लंबे समय तक जेल में रहना पड़ा.


इस मामले में पुलिस की चार्जशीट के बाद बेगूसराय के अपर एवं जिला सत्र न्यायाधीश ने दोनों के खिलाफ आरोप गठित कर दिया है. कोर्ट में 27 मार्च को ट्रायल पर सुनवाई होनी है. मंजू वर्मा और उनके पति निचली अदालत के इसी फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचे थे.


पटना हाईकोर्ट में आज जस्टिस अंजना मिश्र की अदालत में इस पर सुनवाई हुई. मंजू वर्मा और उनके पति के वकील का कहना था कि दोनों के खिलाफ गलत तरीके से मुकदमा चलाया जा रहा है. हाईकोर्ट ने केस डायरी को निचली कोर्ट से अपने पास मंगवाया है. अब केस डायरी के निरीक्षण के पश्चात हाईकोर्ट अपना फैसला सुनायेगा. तभी निचली अदालत में मंजू वर्मा और उनके पति चंद्रशेखर वर्मा के खिलाफ ट्रायल चल पायेगा.