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1st Bihar Published by: Updated Sat, 11 Apr 2020 04:07:46 PM IST
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PATNA : आरएलएसपी अध्यक्ष और भारत सरकार के पूर्व मंत्री उपेन्द्र कुशवाह ने भारत सरकार के उस फैसले का विरोध जताते हुए पीएम मोदी को पुर्नविचार करने की सलाह दी है। उन्होनें कहा है कि देश में 20 करोड़ घरों में अनाज नहीं और आप गेंहू के निर्यात की बात सोच रहे हैं।
उपेन्द्र कुशवाहा ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि Corona और Lockdown के कारण भारत में 20 करोड़ किसान-मजदूर परिवारों के घर में अनाज की अनुपलब्धता रहने की संभावना है। वर्तमान में लोग भुखमरी के शिकार हो ही रहे हैं। ऐसे में नरेन्द्र मोदी सरकार द्वारा विदेशों को गेहूं का निर्यात ठीक नहीं। कृपया पुनर्विचार करें।
इस पूरे मसले पर पार्टी के प्रवक्ता भोला शर्मा ने कहा कि इस समय देश कोरोना जैसे महामारी से जूझ रहा है। लॉक डाउन से किसानों,मजदूरों,गरीबों में भूखमरी का आलम उत्पन्न हो गया है इस बीच मे अगर देश के लोगो पर ध्यान न दे कर मोदी सरकार विदेशों पर ध्यान देती है तो हमारे देश के गरीब गुरबा का क्या होगा। उन्होनें कहा कि पार्टी अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से अपील की है कि वे अपने फैसले पर पुनर्विचार करें। देश में अभी ही लोग भूखमरी का शिकार हो रहे हैं ऐसे में गेहूं के निर्यात के फैसले से देश में लोगों के बीच खाने की किल्लत हो जाएगी।
बता दें कि कुछ देशों की मांग को देखते हुए केन्द्र सरकार ने उन्हें गेहूं के निर्यात का फैसला किया है। इसके तहत 50 हजार टन गेहूं का निर्यात अफगानिस्तान और 40 हजार लेबनान को किया जाएगा।निर्यात का यह सौदा दोनों देशों की सरकारों के बीच हुआ है। सरकारी खरीद एजेंसी भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) के पास गेहूं का पर्याप्त स्टॉक है। लेकिन विश्व व्यापार संगठन (डब्लूटीओ) की शर्तो के मुताबिक एफसीआई गेहूं और चावल की सीधी खरीद किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर करती है।