BIHAR: ऑपरेशन सिंदूर की सफलता को लेकर जमुई में भव्य कार्यक्रम, विधायक श्रेयसी सिंह ने कहा..पीएम मोदी के वादे को सेना ने किया पूरा पटना में बिना नंबर की थार से विदेशी हथियार बरामद, अपराधियों की साजिश नाकाम Bihar News: बिहार के सरकारी तालाबों को मिलेगी विशिष्ट पहचान, जलनिकायों को मिलेगा नया आयाम Bihar News: बिहार के सरकारी तालाबों को मिलेगी विशिष्ट पहचान, जलनिकायों को मिलेगा नया आयाम New Bypass in Bihar: बिहार में यहां बनने जा रहा है नया बाइपास, मालामाल होंगे इन जिलों के जमीन मालिक! New Bypass in Bihar: बिहार में यहां बनने जा रहा है नया बाइपास, मालामाल होंगे इन जिलों के जमीन मालिक! Bihar Land Survey: बिहार में जमीन के ‘बदलैन’ को सरकार ने दी कानूनी मान्यता, जल्द शुरू होगा सर्वे Bihar News: बिहार में इस रेलखंड पर बिछेगी 53 किलोमीटर रेलवे लाइन, सर्वे का काम हुआ पूरा Bihar Politics: ‘पूरा विश्व देख रहा भारत के 56 इंच का सीना’ ऑपरेशन सिंदूर पर बोले युवा चेतना प्रमुख रोहित सिंह Bihar Politics: पूर्णिया में होने वाली VIP की बैठक की तैयारियां तेज, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष संजीव मिश्रा ने की समीक्षा
1st Bihar Published by: Updated Mon, 22 Jun 2020 03:51:49 PM IST
- फ़ोटो
PATNA : सीएम नीतीश कुमार के पीएम को पत्र लिख कर इंटरनेट स्ट्रीमिंग सर्विसेज पर सेंसरशिप लागू किए जाने की मांग पर पूर्व केन्द्रीय मंत्री और आरएलएसपी सुप्रीमो उपेन्द्र कुशवाहा भड़क गये हैं। उन्होनें दो टूक कहा है कि इंटरनेट तो विकास में मददगार है सूबे में हत्या, लूट, बलात्कार और अपहरण जैसी घटनाएं आपके निरंकुश सरकार की देन है।
उपेन्द्र कुशवाहा ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि "चले न जाने तो आंगन टेढ़ा" मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी, बिहार में प्रतिदिन हत्या, लूट, बलात्कार, अपहरण जैसी आपराधिक घटनाएं डबल इंजन सरकार की निरंकुशता व अकर्मण्यता के कारण चरम पर पहुंची है। इंटरनेट तो विकास में मददगार है।
"चले न जाने तो आँगन टेढ़ा"
— Upendra Kushwaha (@UpendraRLSP) June 22, 2020
मुख्यमंत्री श्री @NitishKumar जी,
बिहार में प्रतिदिन हत्या, लूट, ब्लात्कार, अपहरण जैसी आपराधिक घटनाएं डबल इंजन सरकार की निरंकुशता व अकर्मण्यता के कारण चरम पर पहुंची है। इंटरनेट तो विकास में मददगार है।#बदलिए_सरकार_बदलेगा_बिहार https://t.co/97WDvVmbXG
वहीं एक दूसरे ट्वीट में उन्होनें कहा कि कुसहा त्रासदी से लेकर हर वर्ष बाढ़ की विभीषिका से संपूर्ण उत्तर बिहार त्रस्त है, नेपाल आंख दिखाकर लोगों में भय अलग से पैदा कर रहा है। PM से इंटरनेट बंद करवाने के बजाए नेपाल का हुक्का पानी बंद करवाइए सर!
मा. CM @NitishKumar जी,
— Upendra Kushwaha (@UpendraRLSP) June 22, 2020
कुसहा त्रासदी से लेकर हर वर्ष बाढ़ की विभीषिका से संपूर्ण उत्तर बिहार त्रस्त है, नेपाल आँख दिखाकर लोगों में भय अलग से पैदा कर रहा है।
PM से इंटरनेट बंद करवाने के बजाए नेपाल का हुक्का पानी बंद करवाइए सर!#बदलिए_सरकार_बदलेगा_बिहारhttps://t.co/9xJ8knBK2h
कुशवाहा ने डबल इंजन की सरकार पर हमला बोला है और कहा है कि नीतीश कुमार इंटरनेट पर सेंसरशिप की बात कर अपने सरकार की नाकामी को छिपा रहे हैं जबकि बिहार की डबल इंजन की सरकार की निरंकुशता और अकर्मण्यता की वजह से सूबे में हत्या, लूट, बलात्कार, अपहरण जैसी गंभीर आपराधिक घटनाएं बढ़ गयी तो वे इसके लिए इंटरनेट को दोषी ठहरा रहे हैं जबकि इंटरनेट तो विकास में मददगार होता है। इंटरनेट के जरिए बच्चे पढ़ाई करते है तो बहुत सारे काम उसके जरिए सर्वसुलभ होते हैं। वहीं कुशवाहा ने नेपाल के मसले पर भी सरकार को घेरा है। दरअसल नेपाल से आने वाली नदियों के जल स्तर पर नियंत्रण के लिए बिहार सरकार बाढ़ रक्षात्मक कार्य कराती रही है लेकिन इस बार नेपाल ने इस पर रोक लगा दिया है। इस बीच बिहार सरकार ने केन्द्र सरकार को त्राहिमाम संदेश भेजा है।
बता दें कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पीएम नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखा है जिसमें सीएम ने अनुरोध किया है कि इंटरनेट के जरिए उपलब्ध स्ट्रीमिंग सर्विसेज पर सेंसरशिप लागू किया जाए। पीएम को लिखे पत्र में उन्होनें कहा है कि देश में महिलाओं और बच्चों के साथ घटित दुष्कर्म और आपराधिक घटनाओं से पूरे देश का जनमानस उद्वेलित होता है। इस पत्र में सीएम ने 12 दिसंबर को पोर्न साइट पर रोक संबंधी लिखे गये पत्र का भी जिक्र किया है।
सीएम नीतीश कुमार ने पीएम को लिखे पत्र में कहा है कि स्ट्रीमिंग सर्विसेस के जरिए उपभोक्ताओं को कार्यक्रम, फिल्में और सीरियल्स दिखा रहे हैं। लेकिन इस सर्विसेज में सेंसरशिप लागू नहीं होने के कारण इन कार्यक्रमों में अत्याधिक मार-धाड़ या सेक्स के खुले प्रदर्शन पर आधारित फिल्में और धारावाहिक इंटरनेट के जरिए इन चैनलों पर दिखायी जा रही है।सीएम ने कहा है कि स्ट्रीमिंग सर्विसेज के जरिए दिखाए जाने वाले अश्लील और हिंसक कार्यक्रमों के नकारात्मक प्रभावों के कारण अपराध में वृद्धि हो रही है। ऐसे कार्यक्रमों के निर्माण और प्रसारण को अपराध मानते हुए इस पर तत्काल अंकुश लगाने पर बल दिया है।