पीके शाही बने बिहार के नये महाधिवक्ता: अपने सीनियर के लिए शुक्रवार की शाम ललित किशोर ने छोड़ा था पद

पीके शाही बने बिहार के नये महाधिवक्ता: अपने सीनियर के लिए शुक्रवार की शाम ललित किशोर ने छोड़ा था पद

PATNA: बिहार सरकार के मंत्री से लेकर महाधिवक्ता का पद संभाल चुके पीके शाही को फिर से सूबे का महाधिवक्ता यानि एडवोकेट जेनरल बनाया गया है. नीतीश सरकार ने शुक्रवार की देर रात इसकी अधिसूचना जारी कर दी. सरकारी नोटिफिकेशन में कहा गया है कि प्रशांत कुमार शाही यानि पीके शाही सूबे के नये महाधिवक्ता होंगे. 


बता दें कि इससे पहले राज्य के महाधिवक्ता ललित किशोर ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था. शुक्रवार की शाम ललित किशोर के इस्तीफे की खबर आय़ी. किसी राज्य के महाधिवक्ता यानि एडवोकेट जेनरल का पद काफी अहम होता है लिहाजा न सिर्फ कोर्ट-कचहरी बल्कि सियासी हलके में कई तरह की चर्चायें हो रही थी. लेकिन देर रात राज्य सरकार के नोटिफिकेशन ने स्थिति साफ कर दी. सरकार ने पीके शाही को नया महाधिवक्ता बनाया है. बता दें कि पीके शाही पहले भी बिहार के महाधिवक्ता रह चुके हैं. 


पटना हाईकोर्ट के सबसे नामचीन वकीलों में से एक पीके शाही को नीतीश कुमार बाद में राजनीति में ले आये थे. उन्हें एमएलसी बनाया गया था. उसके बाद काफी दिनों तक पीके शाही ने बिहार के शिक्षा मंत्री का भी पद संभाला. 2015 में जेडीयू-राजद की सरकार बनने के समय उन्हें मंत्री नहीं बनाया गया. इसके बाद पीके शाही ने फिर से वकालत शुरू करने का एलान कर दिया था. वे एमएलसी रहते हुए वकालत के अपने पुराने पेशे में रम गये थे. हालांकि उस दौर में भी पीके शाही को एडवोकेट जेनरल बनाने का ऑफर मिला था लेकिन उन्होंने नकार दिया था.


पीके शाही के इंकार के बाद ही ललित किशोर बिहार के महाधिवक्ता बनाये गये थे. ललित किशोर की चर्चा पीके शाही के सबसे करीबी वकीलों में होती रही है. हालांकि न्याय जगत में चर्चा का विषय ये है कि पी के शाही एडवोकेट जेनरल बनने के लिए तैयार कैसे हो गये. जानकार बताते हैं कि कई मामलों में हाईकोर्ट से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक बिहार सरकार की भारी किरकिरी के बाद खुद नीतीश कुमार ने कई दफे पीके शाही से बात कर एडवोकेट जेनरल बनने का आग्रह किया था. आखिरकार पीके शाही माने औऱ शुक्रवार की देर रात उन्हें एडवोकेट जेनरल बनाने का नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया.