पटना की बेटी ने BHU के मेडिकल परीक्षा में टॉप किया लेकिन मां ने बना दिया अपराधी, पटना के PK गैंग की मेंबर बन गयी, यूपी पुलिस का सनसनीखेज खुलासा

पटना की बेटी ने BHU  के मेडिकल परीक्षा में टॉप किया लेकिन मां ने बना दिया अपराधी, पटना के PK गैंग की मेंबर बन गयी, यूपी पुलिस का सनसनीखेज खुलासा

DESK: BHU यानि बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय के डेंटल कॉलेज की में जब इस दफे 2019 बैच के चौथे सेमेस्टर की परीक्षा हुई तो उसमें बिहार के पटना की जूली कुमारी ने टॉप किया था। पटना के एक गरीब सब्जी बेचने वाली जूली कुमारी की इस सफलता पर उसके परिवार ही नहीं बल्कि मोहल्ले के लोग भी गौरवान्वित थे। लेकिन इसी साल टॉप करने वाली जूली अब सलाखों के पीछे पहुंच गयी है। पुलिस कह रही है कि किसी और ने नहीं बल्कि उसकी मां ने ही जूली को अपराधी बना दिया। जूली की मां ने पटना के PK गैंग से 5 लाख रूपये में सौदा कर अपनी बेटी को ही अपराधी बना दिया।


यूपी पुलिस का सनसनीखेज खुलासा

यूपी पुलिस के क्राइम ब्रांच ने इस सनसनीखेज कांड का खुलासा किया है। यूपी पुलिस ने पटना की निवासी और बीएचयू में पढ़ने वाली जूली और उसकी मां को गिरफ्तार कर लिया है। उनके साथ दो और लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस कह रही है कि सारे लोग पटना के PK गैंग के मेंबर है। पटना का मास्टरमाइंड PK सॉल्वर गैंग चलाता है। यानि परीक्षाओं में परीक्षार्थी की जगह दूसरे को बिठाता है। जूली पर आरोप है कि पिछले रविवार को मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश के लिए NEET-UG परीक्षा में जूली ने दूसरी परीक्षार्थी की जगह परीक्षा दी थी। पटना का PK पूरे देश में सॉल्वर गैंग चलाता है। इसमें लखनऊ के किंग्स जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी का एक डॉक्टर भी शामिल है।


लालच में फंसी मां ने बेटी को अपराधी बनाया 

यूपी पुलिस के क्राइम ब्रांच के मुताबिक पटना के संदलपुर वैष्णवी कॉलोनी की रहने वाली जूली बेहद गरीब परिवार से आती है। उसके पिता सब्जी बेचते हैं। लेकिन जूली ने अपने मेहनत के दम पर बीएचयू में एडमिशन पाया था। वहां उसने परीक्षा में टॉप किया था। सॉल्वर गैंग ने गरीब परिवार की जूली को अपने लिये फिट केस समझा। लिहाजा जूली की मां बबीता से सॉल्वर गैंग ने संपर्क साधा। जूली की मां के हाथ में 50 हजार रूपये थमाये गये और कहा कि 5 लाख कमाना चाहती हो तो बेटी को राजी करो। सॉल्वर गैंग ने बबीता से कहा कि अगर वह अपनी बेटी को दूसरे कैंडिडेट की जगह परीक्षा में बैठने को राजी कर लेती है तो उसे 5 लाख रूपये दे दिये जायेंगे। पैसे की लालच में आयी जूली की मां बबीता ने बेटी पर जोर डाल कर उसे अपराध करने के लिए राजी कर लिया।

परीक्षा के दौरान ही पकड़ी गयी जूली

कल यानि रविवार को बनारस के पास सारनाथ में सेंट फ्रांसिस स्कूल में NEET-UG परीक्षा का केंद्र था। बबीता अपनी बेटी जूली को लेकर परीक्षा में शामिल कराने खुद पहुंची थी। जूली परीक्षा देने भी चली गयी। लेकिन परीक्षा के दौरान ही उस पर शक हो गया। इसके बाद परीक्षा संचालकों ने पुलिस को खबर दे दिया। परीक्षा खत्म होने के वक्त पुलिस वहां पहुंची औऱ उसने जूली को अपने गिरफ्त में ले लिया। मां के दबाव में अपराधी बन गयी जूली पुलिस के मामूली दबाव में टूट गयी। उसने सारा राज उगल दिया। उसके बाद पुलिस ने सारनाथ में ही मौजूद उसकी मां बबीता को पकड़ लिया। बबीता के मोबाइल से उन दो एजेंट के भी नंबर मिल गये जिन्होंने पूरी प्लानिंग रची थी।


बबीता से सख्ती से पूछताछ हुई तो उसने ये भी बता दिया कि दोनों एजेंट अगल बगल के इलाके में ही हैं। इसके बाद यूपी पुलिस ने दबिश दी औऱ दोनों को गिरफ्तार कर लिया। बनारस में छापेमारी कर बिहार के खगड़िया के रहने वाले विकास कुमार को गिरफ्तार किया गया है। वहीं मऊ के मोहम्मदाबाद गोहना क्षेत्र से ओसामा शाहिद पकड़ा गया। विकास और ओसामा पटना के PK गैंग के मेंबर हैं. दोनों से पूछताछ की जा रही है।



ऐसे जाल में फंस गयी जूली

यूपी पुलिस के मुताबिक पढ़ने में बेहद संजीदा जूली कुमारी सॉल्वर गैंग के सदस्यों और अपने परिवार के लोगों के जाल में फंस गयी। पटना का PK नाम का आदमी पूरे देश में सॉल्वर गैंग चलाता है। उसी गैंग का प्रमुख मेंबर खगड़िया का रहने वाला विकास कुमार है। बिहार के खगड़िया जिले के बेला सिकड़ी गांव का मूल निवासी विकास कुमार महतो पटना में रहता था। उसी दौरान उसकी दोस्ती जूली के भाई अभय कुमार कुशवाहा से हो गयी। सॉल्वर गैंग का एजेंट विकास खुद को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाला छात्र बताता था. जूली के भाई अभय ने जब विकास को ये बताया कि उसकी बहन बीएचयू से बीडीएस कर रही है तो विकास ने उसे फंसाने की पूरी प्लानिंग कर ली. उसने अभय से दोस्ती मजबूत की और उसके घर पर आना-जाना शुरू कर दिया. इसी दौरान वह जूली की मां बबीता से मिला और फिर 5 लाख रूपये का लालच देकर जूली को इस अपराध में शामिल कराने पर राजी कर लिया.


बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के फैकल्टी ऑफ डेंटल साइंसेज की 2019 बैच की छात्रा जूली कुमारी BDS सेकेंड ईयर में पढ़ती है. नीट की परीक्षा में उसे तकरीबन 75 फीसदी अंक आये थे. वह बीडीएस के अपने बैच की टॉपर है. उसके क्लास के छात्रों ने बताया कि जूली बेहद संजीदा स्टूडेंट रही है और हमेशा पढ़ाई में ही लगी रहती थी. उसकी और किसी चीज में दिलचस्पी नहीं थी. क्लास में भी किसी से उसकी बहुत दोस्ती-यारी नहीं थी. 


पूरी तैयारी के साथ भेजा था फर्जी परीक्षार्थी बनाकर

पुलिस ने बताया कि पूछताछ में जो जानकारी मिल रही है उसके मुताबिक जूली को पूरी तैयारी के साथ दूसरे की जगह परीक्षा देने भेजा गया था. उससे असली परीक्षार्थी का साइन सैकडो बार कराया गया था ताकि दोनों का साइन बाद में भी एक जैसा ही दिखे. जूली की तस्वीर को फोटोशॉप करके मूल परीक्षार्थी से मिलता जुलता बना दिया गया था. सामान्यतः देखने पर दोनों की तस्वीर एक जैसी ही नजर आती. लेकिन पहली दफे अपराध करने गयी परीक्षा कक्ष में बदहवास थी और इसके कारण ही पकड़ी गयी.


पटना का PK गैंग

यूपी पुलिस कह रही है कि जिस गैंग ने जूली को अपराधी बना दिया वह पटना का PK गैंग है. उसके दो एजेंट पकड़े गये हैं. दोनों ने बताया कि पटना का रहने वाला पीके उनका सरगना है. वह इतना शातिर है कि एजेंटों को भी उसके पूरे नाम की सही से खबर नहीं है. पीके मूल रूप से पटना का निवासी है लेकिन वह देश के अलग अलग शहरों में ठिकाना बनाता रहता है. पीके दूसरे देश में सॉल्वर गैंग चलाता है. उसकी टीम में लखनऊ के प्रतिष्ठित किंग्स जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी के एक डॉक्टर के शामिल होने की भी खबर मिली है. पुलिस ने दोनों एजेंटों के कॉल डिटेल की पड़ताल के बाद डॉक्टर को शक के घेरे में पाया है. डॉक्टर से पूछताछ के लिए टीम रवाना हो गयी है. वहीं पटना के पीके की गिरफ्तारी के लिए भी यूपी पुलिस की टीम बिहार रवाना हो गयी है. 


पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश ने बताया कि मां-बेटी और दोनों एजेंटो को जेल भेजा जा रहा है. पुलिस ने एक बड़े नेटवर्क को उद्भेदन कर लिया है. इसके सरगना समेत दूसरे अपराधियों की गिरफ्तारी की जायेगी. उसके लिए छापेमारी शुरू कर दी गयी है. 


जूली का करियर बर्बाद

उधर मां की करतूत ने जूली का करियर बर्बाद कर दिया है. वैसे बीएचयू में बीडीएस के डीन प्रो. विनय कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि उन्हें अब तक अपने कॉलेज की किसी स्टूडेंट की गिरफ्तारी की खबर नहीं मिली है. लेकिन जैसे ही पुलिस से ऐसी खबर मिलेगी वैसे ही उसके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. ऐसे मामले में सजा सिर्फ यही है कि स्टूडेंट को कॉलेज से निष्कासित कर दिया जाये.